Geeta Gyan: श्रीमद्भागवत गीता में जीवन का सार छिपा है। कहा जाता है कि इस ग्रंथ का अध्ययन करने से व्यक्ति को अपने जीवन की सभी समस्याओं का हल मिल सकता है। महाभारत युद्ध में भगवान कृष्ण द्वारा अर्जुन को दिये गये उपदेश किसी के लिए भी प्रेरणा का स्त्रोत साबित हो सकते हैं। श्री कृष्ण की कही गईं बातों का प्रभाव अर्जुन पर ऐसा पड़ा कि वह युद्ध भूमि में फिर से अपने लक्ष्य को प्राप्त करने की तरफ अग्रसर हो गया। वैसे तो गीता में जीवन मरण से संबंधित बहुत सी बातें बताई गई हैं लेकिन यहां आप जानेंगे गीता की कुछ ऐसी बातें जो आपको अपने जीवन के किसी भी मोड़ पर काम आ सकती हैं….
– नाम, पद, प्रतिष्ठा, संप्रदाय, धर्म, स्त्री पुरुष हम नहीं हैं और न यह शरीर हम है। ये शरीर अग्नि, जल, वायु, पृथ्वी, आकाश से बना है और इसी में मिल जाएगा। लेकिन आत्मा स्थिर है और हम आत्मा हैं। आत्मा कभी न मरती है। न इसका जन्म है और न मृत्यु! आत्मभाव में रहना ही मुक्ति है।
– परिवर्तन संसार का नियम है। यहां सब बदलता रहता है। इसलिए सुख-दुःख, लाभ-हानि, जय-पराजय, मान-अपमान आदि में भेदों में एक भाव में स्थित रहकर हम जीवन का आनंद ले सकते हैं।

– अपने क्रोध पर काबू रखो। क्रोध से भ्रम पैदा होता है और भ्रम से बुद्धि विचलित होती है। इससे स्मृति का नाश होता है और इस प्रकार व्यक्ति का पतन होने लगता है। क्रोध, कामवासना और भय ये हमारे शत्रु हैं।
– हमें अपने देखने के नजरिए को शुद्ध करना होगा और ज्ञान व कर्म को एक रूप में देखना होगा, जिससे हमारा नजरिया बदल जाएगा।

– अशांत मन को शांत करने के लिए अभ्यास और वैराग्य को पक्का करते जाओ, अन्यथा अनियंत्रित मन हमारा शत्रु बन जाएगा।
– हम जो भी कर्म करते हैं उसका फल हमने ही भोगना पड़ता है। इसलिए कर्म करने से पहले विचार कर लेना चाहिए।

– अपनी दिनचर्या को व्यवस्थित करो- आहार, विहार और हमारी चेष्टाएं संतुलित होनी चाहिए। साथ ही सोने और जागने का समय भी निश्चित करना चाहिए।

– बीते कल और आने वाले कल की चिंता नहीं करनी चाहिए, क्योंकि जो होना है वही होगा। जो होता है अच्छा ही होता है। इसलिए वर्तमान का आनंद लो।

