शहर की पुलिस ने एक अनिवासी भारतीय के खिलाफ धोखाधड़ी और उत्पीड़न का मामला दर्ज किया है, जिसने अखबार में विज्ञापन के जरिये पत्नी को कथित तौर पर तलाक दे दिया था। पुलिस ने बताया कि आरोपी मोहम्मद मुश्ताकुद्दीन ने जनवरी, 2015 में 25 वर्षीय शिकायतकर्ता से शादी की थी। आरोपी महिला को सऊदी अरब ले गया, जहां वह काम करता था। पिछले महीने दंपति अपने 10 माह के बच्चे के साथ भारत लौटा। इसके बाद मुश्ताकुद्दीन अकेले सऊदी अरब चला गया। उसकी पत्नी ने मुगलपुरा थाने में शिकायत दर्ज कराकर आरोप लगाया है कि मुश्ताकुद्दीन ने एक स्थानीय उर्दू अखबार में विज्ञापन देकर उसे तलाक दे दिया। बाद में जब ये मामला उछला तो पति ने ये कहकर अपना पल्ला झाड़ लिया कि वकील से कागजात भिजवा दूंगा।

सहायक पुलिस आयुक्त एस गंगाधर ने बताया कि महिला ने अपनी शिकायत में मुश्ताकुद्दीन पर 20 लाख रूपये के दहेज के लिए उत्पीड़न करने का आरोप लगाया है। शिकायतकर्ता के अनुसार मुश्ताकुद्दीन के सऊदी अरब लौटने के बाद महिला के ससुराल वालों ने उसे उनके घर में घुसने से रोक दिया। दो दिन पहले उसने एक उर्दू अखबार में एक विज्ञापन देखा जिसमें कहा गया है कि मुश्ताकुद्दीन ने उसे ‘तलाक’ दे दिया है। यह विज्ञापन उसके पति के वकील की तरफ से दिया गया है। पुलिस अधिकारी ने बताया, ‘‘महिला ने मुश्ताकुद्दीन को फोन के जरिये संपर्क करने की कोशिश की लेकिन उसने फोन नहीं उठाया इसलिए उसने शिकायत दर्ज करायी है। पुलिस ने भादंसं की संबद्ध धाराओं के तहत मामला दर्ज कर लिया है। एस गंगाधर ने बताया, ‘‘हम जांच कर रहे हैं और साथ ही इस बात की पुष्टि करने की कोशिश कर रहे हैं कि शरिया के मुताबिक अखबार में विज्ञापन देकर तलाक देना जायज है या नहीं।’’