समाजवादी पार्टी के जिलाध्यक्ष नदीम फारूकी का एक वीडियो सोशल मीडिया में जमकर वायरल हो रहा है। इस वीडियो में फारूकी एक जनसभा में पुलिस को जूते की नोक पर रखने की बात कह रहे हैं। फारूकी जेल से छूटने के बाद शमसाबाद कस्बे में समर्थकों के साथ पहुंचे। यहां उन्होंने भाजपा नेताओं पर झूठा मुकदमा दर्ज कराने का आरोप लगाया और कहा कि गर्व की बात है सीएम ने गिरफ्तार कराया, पुलिस को मैंने जूते की नोंक पर रखा है।

समाजवादी पार्टी के जिलाध्यक्ष ने जेल से जमानत पर छूटने के बाद कहा “गर्व की बात है मुख्यमंत्री ने मुझे अरेस्ट कराया। आप लोगों की दुआएं थी, बुजुर्गों की दुआएं थी, नौजवानों का हौसला था, वकीलों का साथ था। पुलिस का भी मैं आज पहली बार शुक्रिया अदा करता हूँ कि उन्होंने भी हमारा सम्मान रखा 3 दिन तक। पहली बार नहीं तो पुलिस को मैंने हमेशा जूते की नोंक पर रखा है। मुझे एक ही डर था जेल जाने का वह डर अब हमेशा के लिए खत्म हो गया।”

जिलाध्यक्ष का वीडियो वायरल होने के बाद कानपुर में इंटेलीजेंस के अधिकारियों ने पूरे मामले को संज्ञान में लेकर प्रकरण की जांच शुरू कर दी है। इस संबंध में सपा जिलाध्यक्ष का कहना है कि उन्होंने पुलिस को धन्यवाद देकर सहयोग करने की बात कही थी। वायरल वीडियो कबका है, इसके बारे में जानकारी नहीं है। एसपी डॉ. अनिल मिश्रा ने बताया कि वायरल वीडियो उन्होने भी देखा है। इसकी जांच कराई जा रही है। इसके बाद कार्रवाई की जाएगी।

इस दौरान फारूकी के समर्थकों ने जमकर हहंगामा भी किया। इस मामले में शमसाबाद के पूर्व नगर पंचायत अध्यक्ष विजय कुमार गुप्ता ने पुलिस से शिकायत की। पुलिस ने सपा जिलाध्यक्ष नदीम फारूकी के अलावा 18 लोगों को नामजद करते हुए 500 अज्ञात समर्थकों के खिलाफ धारा 147, 149, 153-ए, 269, 270, 188, 504, 506, 341, 152, 124-ए और 7 सीएलए व 3 महामारी अधिनियम में मुकदमा दर्ज किया है।

बता दें शमसाबाद थाना क्षेत्र के मोहल्ला कोटला निवासी सितारा बेगम ने 31 अक्तूबर को सपा जिलाध्यक्ष नदीम फारूकी सहित सात नामजद व दो अज्ञात लोगों के खिलाफ जानलेवा हमले व बलवे का मुकदमा दर्ज कराया था। पुलिस ने आरोपी को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया था।