रेप के आरोप में जेल में सजा काट रहा डेरा सैदा सच्चा प्रमुख गुरमीत राम रहीम ने हाल ही में पैरोल की अपील की थी, राम रहीम ने दलील दी थी कि जेल में उसका व्यवहार अच्छा है इसलिए उसे पैरोल पर जेल से बाहर आने की इजाजत मिलनी चाहिए। राम रहीम की इस गुहार के बाद सोनरिया जेल के जेल अधीक्षक ने भी राम रहीम के जेल में आचरण की तारीफ करते हुए उसे पैरोल मिलने के योग्य बताया है। जेल प्रशासन ने पैरोल देने की इजाजत दे दी है।

राम रहीम ने  21 जून को पैरोल के लिए सिफारिश की थी और राम रहीम का कहना है कि उन्हें फंसाया गया है वह कृषि संबंधी कार्य के लिए जेल से बाहर जाना चाहता है। हालांकि, राम रहीम की रिहाई पर अंतिम फैसला कमिश्नर कोर्ट करेगा। जेल मंत्री ने भी इस बात की पुष्टि की है कि जेल अधीक्षक ने राम रहीम को पैरोल पर रिहा करने की अनुशंसा की है।

राम रहीम के खिलाफ पहला मामला उस समय प्रकाश में आया था जब 2002 में तत्कालीन प्रधानमंत्री अटल बिहारी  वाजपेयी को एक साध्वी ने पत्र लिखकर बताया था कि वह उन तमाम महिलाओं में से है जिसके साथ गुरमीत राम रहीम ने यौन उत्पीड़न किया है। इसके अलावा गुरमीत राम रहीम पत्रकार राम चंदर छत्रपति की हत्या का मुख्य आरोपी भी है। बता दें कि छत्रपति ने गुरमीत राम रहीम के बढ़ते साम्राज्य को लेकर खबरें लिखी थी।