पंजाब में अगले साल विधानसभा चुनाव होने हैं। ऐसे में कांग्रेस पार्टी ने एक ऐसे शख्स को अपनी पार्टी से टिकट दिया है जिसकी पार्टी को चुनाव आयोग द्वारा डीलिस्ट किया गया है। कांग्रेस ने सतनाम सिंह कैंथ नाम के शख्स को बंगा विधानसभा सीट से टिकट दिया है। सतनाम की जिस पार्टी को डीलिस्ट किया गया उसका नाम ‘डेमोक्रेटिक बहुजन समाज मोर्चा’ है। 56 साल के सतनाम दसवीं बार कोई चुनाव लड़ेंगे। वह 1990 में बहुजन समाज पार्टी की तरफ से भी चुनाव लड़ चुके हैं। वह पूर्व विधायक होने के साथ-साथ सांसद और पंजाब एसेंबली में विपक्ष के नेता भी रह चुके हैं। कांग्रेस ने त्रिलोचन सिंह सुंध के बदले उन्हें टिकट दिया है। त्रिलोचन सिंह इस वक्त कांग्रेस पार्टी की तरफ से बंगा सीट के विधायक हैं।

इंडियन एक्सप्रेस से बात करते हुए सतनाम ने बताया कि उन्होंने बहुजन समाज पार्टी से अलग होकर 1999 में ‘डेमोक्रेटिक बहुजन समाज मोर्चा’ बनाई थी। जिसके बाद 2007 में कांग्रेस में उसका विलय कर दिया गया। सतनाम ने कहा, ‘मुझे नहीं पता कि मेरी पार्टी को अब डीलिस्ट किया गया है। उसे तो 2007 में ही डीलिस्ट हो जाना चाहिए था जब मैंने कांग्रेस में उसका विलय किया था।’ सतनाम के मुताबिक कांग्रेस में विलय के बाद उन्होंने चुनाव आयोग को लिखित में जानकारी दी थी। सतनाम ने आगे बताया कि वह 1981 से राजनीति में हैं और अबतक छह बार विधानसभा चुनाव और तीन बार संसदीय चुनाव लड़ चुके हैं। उन्होंने सबसे पहली बार चुनाव 1985 में बहुजन समाज पार्टी की टिकट पर लड़ा था। अपनी पार्टी के बैनर तले उन्होंने दो बार चुनाव लड़ा लेकिन वह दोनों बार हारे।

सतनाम के मुताबिक उनकी पार्टी को कभी किसी से कोई फंड नहीं मिला और इसकी वजह से उन्होंने कभी कोई ऑडिट रिपोर्ट भी जमा नहीं करवाई। लेकिन राज्य में उनके कुछ कार्यकर्ता और पदाधिकारी अब भी मौजूद हैं जिनके साथ उनकी वक्त-वक्त पर मीटिंग होती रहती हैं। सतनाम को पंजाब के पूर्व सीएम बेअंत सिंह का करीबी माना जाता है। बहुजन समाज पार्टी के संस्थापक कांशी राम से भी उनके अच्छे संबंध थे।