छत्तीसगढ़ की राजधानी रायपुर में एक ऐसा रेस्टोरेंट हैं जहां शहीदों के परिजन मुफ्त में खाना खा सकते हैं। इतना ही नहीं इस रेस्टोरेंट में वर्दी पहन कर आए सैनिकों को 50 प्रतिशत तो बिना वर्दी में आए सैनिकों को 25 प्रतिशत तक की छूट दी जाती है। इस रेस्टोरेंट का नाम है नीलकंठ रेस्टोरेंट और इसके स्वामी हैं मनीष दुबे। मनीष दुबे सेना में भर्ती होना चाहते थे। कुछ कारणों के चलते वो सेना में भर्ती नहीं हो पाए। सेना में भर्ती ना हो पाने का मलाल मनीष को ताउम्र रहेगा लेकिन अपने इस दुख को भुलाने के लिए उन्होंने अपना ये रेस्टोरेंट खोला और सैनिकों को सस्ते में भोजन करवाना शुरू कर दिया।
जनसत्ता से बात करते हुए मनीष ने बताया कि वो साल 2014 में जब उन्होंने रेस्टोरेंट खोला तो वो यहां आने वाले किसी भी सैनिक से पैसा नहीं लेते थे। बिना पैसे के खाने से कुछ सैनिकों के आत्मसम्मान को ठेस भी पहुंचती थी। सैनिकों के आत्मसम्मान को देखते हुए मनीष ने सस्ते दामों पर उन्हें भोजन करवाना शुरू कर दिया। मनीष बताते हैं कि उनके दिल में शहीदों के लिए बहुत ज्यादा सम्मान है। इसी सम्मान के चलते वो शहीदों के परिजनों को मुफ्त में भोजन कराते हैं।
मनीष ने अपना नीलकंठ रेस्टोरेंट रायपुर स्टेशन के पास ही खोला हुआ है। स्टेशन के पास होने के चलते वहां ट्रेन से सफर करने वाले सैनिक काफी बड़ी तादाद में पहुंचते हैं। बस्तर इलाके में तैनात सीआरपीएफ के जवान इनके नियमित कस्टबर हैं जो हर बार वहां से गुजरते वक्त इनके रेस्टोरेंट में जरूर आते हैं।
मनीष ने अपने रेस्टोरेंट में बकायदा राष्ट्रहित सर्वप्रथम लिखा हुआ एक बोर्ड लगा रखा है। इस बोर्ड पर लिखा है कि हमारे लिए सभी ग्राहक महत्वपूर्ण हैं लेकिन हम भारतीय सेना को सलाम करते हैं। इस बोर्ड पर सैनिकों को मिलने वाले डिस्काउंट के बारे में भी लिखा है। मनीष ने बताया कि उनके इस काम की प्रशंसा पूरे देश भर में हो रही है। मनीष अपने इस रेस्टोरेंट के जरिए भारतीय सेना के अपनी तरफ से जो तर सकते हैं वो कर रहे हैं।