-
भारतीय टीम के धाकड़ बल्लेबाज युवराज सिंह वर्षों से एक मैच विनर खिलाड़ी साबित हुए हैं। वह उन खिलाड़ियों में से हैं, जिनकी बदौलत टीम इंडिया ने 2007 का टी20 विश्व कप और 2011 का क्रिकेट वर्ल्ड कप जीता था। इसके बाद उन्होंने कैंसर से जंग लड़ी और फिर अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट में वापसी की। लेकिन बदलते वक्त के साथ टीम इंडिया का यह विस्फोटक बल्लेबाज खेल की मांगों के अनुरूप खरा नहीं उतर पा रहा। उनका टीम में आना-जाना लगातार जारी है। इस साल की शुरुआत में उन्होंने टीम में मौका दिया गया था, जिसका उन्होंने भरपूर फायदा उठाते हुए इंग्लैंड के खिलाफ 150 रन ठोक डाले थे। इसकी के चलते चैम्पियंस ट्रॉफी में उनकी सीट पक्की हुई थी। इस टूर्नामेंट में उन्होंने पाकिस्तान के खिलाफ एक हाफ सेंचुरी लगाई थी। लेकिन श्रीलंका के खिलाफ बेहद अहम मैच में युवराज 18 गेंदों पर मात्र 7 रन बनाकर आउट हो गए थे। वहीं फाइनल में पाकिस्तान के खिलाफ जब टीम इंडिया को उनसे एक बेहतर पारी की उम्मीद थी तो युवराज 31 गेंदों पर 22 रन बनाकर चलते बने। कई बार फील्डिंग के दौरान भी उनसे गलतियां हुई हैं। आइए आपको बताते हैं वो 5 खिलाड़ी, जो युवराज की जगह टीम इंडिया में फिट हो सकते हैं।
-
सुरेश रैना : वर्षों से रैना टीम इंडिया के मिडिल अॉर्डर के अहम खिलाड़ी रहे हैं। मैदान पर बेहद चुस्त और तेज प्लेयर हैं। लेकिन 2015 विश्व कप के बाद रैना की खराब फॉर्म के कारण उन्हें उसी साल साउथ अफ्रीका के खिलाफ सीरीज से ड्रॉप कर दिया गया था। तब से वह एक टी20 स्पेशलिस्ट बल्लेबाज के तौर पर सामने आए हैं। वह आज के दौर में खेल की जरूरतों पर खरे उतरते हैं। गेंद के साथ भी जलवा दिखा सकते हैं और मैदान पर रन रोकने में भी माहिर हैं। अगर वह टीम में युवराज की जगह वापसी करते हैं तो इसमें हैरानी की बात नहीं होनी चाहिए।
-
दिनेश कार्तिक: घरेलू मैचों में शानदार प्रदर्शन के बाद टीम इंडिया में उन्हें शामिल किया गया। लेकिन अंतरराष्ट्रीय स्तर पर प्रदर्शन वैसा नहीं रहा। टीम से ड्रॉप कर दिया गया। पिछले एक दशक से दिनेश कार्तिक का करियर कुछ एेसा ही रहा है। वह टीम इंडिया के लंबे समय से जुड़े जरूर हुए हैं, लेकिन प्लेइंग इलेवन में जगह पक्की कर पाने में नाकाम रहे हैं। एक बार फिर उन्होंने घरेलू श्रृंखलाओं में शानदार प्रदर्शन किया है, जिसके कारण उन्हें चैम्पियंस ट्रॉफी की टीम में शामिल किया गया था। लेकिन खेलने का मौका नहीं मिला। वेस्टइंडीज के खिलाफ सीरीज में भी उनके खेलने की संभावना नहीं नजर आती।
-
मनीष पांडे: कुछ समय से पांडे वनडे टीम का हिस्सा हैं और जब भी मौका मिला, उन्होंने खुद को साबित किया। इसका नजारा 2016 में अॉस्ट्रेलिया के खिलाफ पांचवे वनडे में देखने को मिला, जिसमें उन्होंने शानदार सेंचुरी लगातर टीम इंडिया को जीत दिलाई थी। कर्नाटक के इस बल्लेबाज से टीम इंडिया को काफी उम्मीदें हैं कि वह नंबर 4 या 5 पर बैटिंग कर सकते हैं। उन्होंने 2016 में न्यूजीलैंड के खिलाफ सीरीज के लिए चुना गया था, जिसमें वह खास कमाल नहीं दिखा पाए थे। इसके बाद उन्हें ड्रॉप कर युवराज सिंह को मौका दिया गया था। पांडे ने आईपीएल में शानदार प्रदर्शन किया था, जिसकी बदौलत उन्हें चैम्पियंस ट्रॉफी में मौका दिया गया था। लेकिन चोट के कारण वह बाहर हो गए और दिनेश कार्तिक को टीम में लाया गया।
-
ऋषभ पंत: वेस्टइंडीज दौरे के लिए इस खिलाड़ी को चुनकर भी मौका नहीं दिया जाना हैरानी की बात है। लेकिन कप्तान कोहली ने संकेत दिए हैं कि उन्हें तीसरे वनडे में आजमाया जा सकता है। हालांकि यह सीरीज नए खिलाड़ियों को आजमाने के लिए सबसे सही है। पंत ने घरेलू सीरीज और आईपीएल में खुद को साबित किया है। अगर पंत को टीम में लिया जाता है तो एमएस धोनी 4 नंबर पर बल्लेबाजी करेंगे। एेसे में यह भी हो सकता है कि पंत को बल्लेबाजी का मौका ही न मिल पाए। इसलिए टीम मैनेजमेंट को उसकी पोजिशन को लेकर सोचना पड़ेगा।
-
के एल राहुल: अॉस्ट्रेलिया के खिलाफ पहले टेस्ट मैच में इस खिलाड़ी के कंधे में चोट लग गई थी, लेकिन बावजूद इसके वह पूरी सीरीज में एेसे ही खेलते रहे और अच्छा प्रदर्शन किया। आईपीएल शुरू होने से पहले उन्होंने सर्जरी कराने की सोची, ताकि चैम्पियंस ट्रॉफी से पहले फिट हो सकें। लेकिन इसमें ज्यादा वक्त लग गया और राहुल न तो मिनी वर्ल्ड कप खेल पाए और न ही वेस्ट इंडीज दौरे पर। अब उनकी नजरें श्रीलंकाई दौरे पर हैं। उन्होंने तीनों फॉर्मेट में खुद को साबित किया है। टेस्ट सीरीज में कई बार ओपनिंग भी की है। लेकिन वनडे में उन्हें इस जगह पर मौका मिलना मुश्किल है, क्योंकि वहां रोहित शर्मा और शिखर धवन शानदार प्रदर्शन कर रहे हैं। एेसे में उन्हें युवराज की जगह मौका दिया जा सकता है।