-
Mulayam Singh Yadav Vs Akhilesh Yadav Controversy: मुलायम सिंह यादव और अखिलेश यादव की रार सपा (SP) के बिखराव पर आकर खत्म हुई थी। साल 2016 में मुलायम सिंह यादव सपा का अधिवेशन बुलाए जाने से रामगोपाल यादव (Ramgopal Yadav) और अखिलेश यादव पर इतने नाराज हुए थे कि भाई और बेटे दोनों को छह साल के लिए पार्टी से निकाल दिया था। उधर, अखिलेश ने पिता मुलायम को सपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष पद से हटा कर खुद ये पद ले लिया। साइकिल को लेकर भी पिता-पुत्र चुनाव आयोग पहुंच गए थे। इस रार का असर पार्टी पर बहुत बुरा पड़ा था और यही कारण था कि सपा के प्रवक्ता सीपी यादव (CP Rai) ने टीवी पर अपील अखिलेश यादव से समझौता कर माफी मांगने की अपील तक कर दी थी।
-
मुलायम सिंह यादव ने जब भाई रामगोपाल को पार्टी से छह साल के लिए बाहर किया तो उनके खिलाफ बहुत सी बातें की थीं।( ‘रात में घर जाने की रहती है जल्दी’, जब मुलायम सिंह यादव ने बेटे अखिलेश यादव की मंच पर गिनाई थीं कमियां )
-
मुलायम का कहना था रामगोपाल ने उनके बेटे अखिलेश का पूरा भविष्य ही खराब कर दिया। मुलायम ने कहा था कि अखिलेश को समझ नहीं आ रहा है कि वह कितना गलत कर रहा है और गलत रास्ते पर चल रहा है।
-
पार्टी के दो फाड़ होने पर सपा के प्रवक्ता ने एबीपी न्यूज से कहा था कि रामगोपाल हमेशा से नकारात्मक व्यक्ति रहे हैं।( ‘इनकी आराम तलबी से सपा नहीं बनी राष्ट्रीय पार्टी’, जब पिता मुलायम मंच से ही गिनाने लगे थे अखिलेश यादव की कमियां )
-
सीपी राय का कहना था कि यदि नेताजी ने उनका साथ न दिया होता तो वह कहीं के ग्राम प्रधान तक नहीं बन पाते। उनका कहना था किनेता जी के बिना अनुमति के राष्ट्रीय अधिवेशन बुलाकर रामगोपाल ने अनुशासनहीनता की, जबकि वह भली बाती नियमों से परिचित थे।
-
इसी बातचीत में सीपी राय ने अखिलेश से टीवी पर ही अपील कर डाली थी कि वह नेताजी के घर के बगल में रहते हैं, वह नेताजी से मिलकर माफी मांग लें और पार्टी को बचाने में अपना योगदान दें।( स्मृति ईरानी और डिंपल यादव के बीच इस बात पर हो गई थी बहस, महिला नेत्रियों ने खूब निकाली थी भड़ास )
-
बता दें कि इतना होने के बाद भी सपा प्रवक्ता ने यही कहा था कि अखिलेश यादव अच्छे इंसान हैं और रामगोपाल के कहने में आकर यह सब कर रहे हैं। (All Photos: PTI)
