दिल्ली विश्वविद्यालय (डीयू) में ‘विशेष हुनर’ (एक्सट्रा करिकुलर एक्टिविटी) से दाखिले की प्रक्रिया सुस्त है। छात्र ऊहापोह की स्थिति में हैं। छात्रों का कहना है कि डीयू ने ट्रायल तो केंद्रीकृत ले लिया, लेकिन उत्तीर्ण छात्रों की जानकारी वाली केंद्रीकृत सूची विश्वविद्यालय प्रशासन ने जारी नहीं की।
विशेष हुनर के परीक्षण के बाद कौन से छात्र छांटे गए हैं, कौन उत्तीर्ण हुए? किसका फाइनल ट्रायल होगा? किसका कहां दाखिला होगा, इसकी उन्हें जानकारी नहीं मिल पा रही है। इसके लिए छात्रों को कॉलेजों में जाकर पता करने को कहा गया है। जिससे भ्रम और परेशानी की स्थिति बन रही है। इसमें सबसे ज्यादा परेशानी खेल कोटे से दाखिले के इच्छुक छात्रों को हुई। जिनमें से ज्यादातर छात्रों को यही नहीं पता चला कि उनका नंबर कॉलेज की लिस्ट में है भी या नहीं। उधर, मंगलवार को तीन घंटे से ज्यादा समय तक विश्वविद्यालय की वेबसाइट ठप पड़ी रही, जिसने परेशानी दोगुनी कर दी।
बता दें कि विश्वविद्यालय में तीसरी कट के तहत दाखिले के साथ साथ एक्सट्रा करिकुलर एक्टिविटी के छात्रों की भी दाखिले की प्रक्रिया चल रही है। इस बाबत डीयू खेल परिषद के एक अधिकारी ने बताया कि दरअसल छात्रों के ट्रायल के लिए खेलों के हिसाब से कॉलेजों को सूचीबद्ध कर दिया गया था, जिससे केंद्रीकृत ट्रायल हो सके। प्रारंभिक ट्रायल के बाद जिन छात्रों को उत्तीर्ण पाया गया, उनके नाम उन कॉलेजों को भेज दिए गए हैं जहां उस खास हुनर विशेष के छात्रों की फेकल्टी है। या कॉलेजों को उनकी जरूरत है। या फिर जहां उस हुनर विशेष के छात्र को बेहतर कॅरियर विस्तार मिल सकने की संभावना है। छात्रों को उन्हीं कॉलेज कलस्टर में पहुंचकर अपने दाखिले पक्के कराने चाहिए। कॉलेजों को मेरिट के आधार पर छात्रों का चयन कर अपनी कॉलेज वेबसाइट पर सूची जारी करना है और दाखिले पूरी कर उनकी सूचना विश्वविद्यालय को भेजनी है। विश्वविद्यालय का दावा है कि यह प्रक्रिया पूरी होने की कतार में है।
बता दें कि डीयू में अतिरिक्त शैक्षणिक गतिविधियों के तहत खेल, नृत्य, संगीत, वाद-वाद विवाद प्रतियोगिता आदि में विशेष हुनर रखने वाले छात्रों के लिए 5 फीसद सीटें आरक्षित हैं। इस कोटे में इस बार दाखिले के लिए इस बार कुल 7886 आवेदन मिले हैं। डीयू ने पहली बार केंद्रीकृत आॅनलाइन प्रक्रिया इस कोटे के आवेदन भी आॅनलाइन लिए गए। आवेदकों ने अपने प्रमाण पत्र भी स्कैन कापी आॅनलाइन जमा किए। लेकिन हजार से ज्यादा आवेदन रद्द भी हुए। खेल परिषद के एक अधिकारी की मानें तो जिन आवेदनों को अयोग्य करार दे दिया गया उनमें किसी में हस्ताक्षर में गड़बड़ी तो कोई निजी संस्था की ओर से जारी सर्टिफिकेट था। सबसे ज्यादा गड़बड़ी फुटबॉल के सर्टिफिकेट में पाई गई।
सनद रहे कि इस श्रेणी में दाखिले की मेरिट दो तरह से तय होनी है। 75 फीसद प्राथमिकता छात्रों के ट्रायल को व 25 फीसद प्राथमिकता उनके पूर्ववर्ती सर्टिफिकेट को मिलने हैं। 10 श्रेणी में विशेष हुनर रखने वाले छात्रों के ट्रायल 15 कॉलेजों में हुए हैं।
कुछ श्रेणियों में फाइनल ट्रायल 15 से 17 जुलाई के बीच होने हैं। इसके बाद तीसरे फेज में दस्तावेजों की जांच 18 और 19 जुलाई को होंगे। इसके आधार पर तीसरी दाखिला सूची 19 जुलाई को जारी की जाएगी। कॉलेज में तीसरी दाखिला सूची के आधार पर दाखिले 20 और 21 जुलाई को होंगे। विश्वविद्यालय के खेल परिषद के मुताबिक संबद्ध कॉलेजों में एक्सट्रा करिकुलर एक्टिविटी कोटे के तहत छात्रों को दो से पांच मिनट का समय आरक्षित किया था। इसमें श्रेणी के हिसाब से गीत, संगीत व वाद्ययंत्र बजाने के टेस्ट शामिल थे। नृत्य की श्रेणी में छात्रों के भारतीय लोक नृत्य (गैर फिल्मी) परीक्षण से मेरिट तय किए गए। इसके अलावा संगीत, इंस्ट्रूमेंटल, नाटक, वाद-विवाद प्रतियोगिता, और फाइन आर्ट्स आदि शामिल किए गए। सभी छात्रों को अपने प्रदर्शन से जुड़ी चीजें मसलन ‘वाद्ययंत्र’, ‘लोकनृत्य- पोशाक’ आदि लेने के निर्देश विश्वविद्यालय ने जारी किए हैं।