कोलकाता में निर्माणाधीन फ्लाईओवर गिरने से 18 लोगों की मौत हो गई। इस फ्लाईओवर का निर्माण हैदराबाद की इंफास्ट्रक्चर कंपनी आईवीआरसीएल (IVRCL) कर रही थी। इस कंपनी का भारतीय रेलवे के साथ दागी इतिहास रहा है। इसकी परफॉर्मेंस से असंतुष्ट रेलवे के इंजीनियरों ने कंपनी के कॉन्ट्रैक्ट को कई बार रद्द किया था।
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रेलवे की पीएसयू रेल विकास निगम लिमिटेड (RVNL) ने 2013 में इस कंपनी का कॉन्ट्रैक्ट तीन बार रद्द किया। इसके बाद, कंपनी दो सालों के लिए ‘ब्लैकलिस्ट’ हो गई। एक मामले में IVRCL दूसरी कंपनी के साथ निर्माण कर रही थी, जबकि बाकी दो में वह अकेले ही निर्माण कर रही थी। सूत्रों का कहना है कि सिर्फ यही मामले नहीं हैं। कंपनी का कॉन्ट्रैक्ट रद्द करने की वजहों में धीमी गति से काम भी शामिल है। RVNL की ओर से कॉन्ट्रैक्ट के लिए तय शर्तों में यह भी शामिल था कि अगर कॉन्ट्रैक्ट रद्द होगा तो वो कंपनी अगले दो साल तक बोली नहीं लगा पाएगी। इसे एक तरह की ब्लैकलिस्टिंग कही जा सकती है।
रेलवे के निर्माण से जुड़ी एक अन्य बड़ी कंपनी IRCON ने IVRCL को प्रतिष्ठित कश्मीर लिंक प्रोजेक्ट में टनल बनाने का काम दिया था। IVRCL ने एक बड़ी विदेशी कंपनी के साथ टाईअप किया और इस कॉन्ट्रैक्ट को हासिल किया। हालांकि, इस कॉन्ट्रैक्ट को भी परफॉर्मेंस के आधार पर रद्द किया गया।

