उत्तर प्रदेश के उन्नाव जिले के 11 साल के बच्चे ने प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी को रेलवे ट्रेक के चलते हो रही परेशानी के बारे में खत लिखा। उसे इस खत का जवाब भी मिला। चन्द्रशेखर आजाद इंटरमीडियट कॉलेज सातवीं कक्षा में पढ़ने वाले नयन सिंहा ने खत में बताया कि रेलवे ट्रेक को पार करने के लिए क्रॉसिंग न होने के कारण उसे और 200 अन्य छात्रों को लंबे रास्ते से गुजरना पड़ता है। नयन के खत पर कार्रवाई करते हुए प्रधानमंत्री ने रेल मंत्रालय से मामले में दखल देने को कहा।
हालांकि क्रॉसिंग बनने में एक दिक्कत आ गई। सीनियर डिवीजनल मैनेजर( उत्तरी रेलवे) एके सिंहा ने बताया कि, ‘रेलवे की नई नीति के अनुसार बिना राज्य सरकार की मांग के कोई नया ओवरब्रिज या क्रॉसिंग नहीं बनाया जा सकता।’ सिंहा ने बताया कि उन्होंने नयन को इस बारे में जानकारी दे दी है। साथ ही दिल्ली स्थित रेल मुख्यालय को भी इस बारे में जानकारी देंगे। नयन बताता है कि, ‘मुझे माता-पिता ने रेल ट्रेक पार करने से मना किया है। इसके चलते मुझे लंबे रास्ते से जाना होता है। जिससे मैं स्कूल देरी से पहुंचता हूं और सजा भुगतनी पड़ती है। पिछले साल सितम्बर में मैंने प्रधानमंत्री को खत भेजा था।’
उसने बताया कि, मैं इस चिट्ठी के बारे में भूल गया था। दो दिन पहले घर पर डिवीजनल इंजीनियर का पत्र आया। इसमें मेरी चिट्ठी का भी जिक्र था।’ नयन क के पिता आशुतोष ने बताया कि,’ रेलवे ट्रेक घर से 100 मीटर है लेकिन नयन को 2 किलोमीटर दूर रेल क्रॉसिंग से होकर स्कूल जाना होता है। रेल क्रॉंसिंग बन जाने से सभी लोगों को राहत मिलेगी।’