सुप्रीम कोर्ट के सीनियर जज जस्टिस जे चेलामेश्वर ने कोलेजियम प्रणाली पर सवाल उठाते हुए चीफ जस्टिस टीएस ठाकुर को एक चिठ्ठी लिखी है। जे चेलामेश्वर ने लिखी चिठ्ठी में कोलेजियम प्रणाली के पारदर्शी ना होने की बात भी कही है। उन्होंने लिखा है कि वह कोलेजियम की मीटिंग में शामिल नहीं होंगे और सारे फैसले उनके पास लिखित में भेजे जाएं। यानी जजों की नियुक्तियों और ट्रांसफर के लिए होने वाली सभी गुप्त मीटिंग का रिकॉर्ड जस्टिस जे चेलामेश्वर ने मांगा है। गौरतलब है कि पिछले साल अक्टूबर में सुप्रीम कोर्ट की पांच जजों की संविधान पीठ ने केंद्र सरकार के नेशनल ज्यूडिशियल अपाइंटमेंट कमीशन (NJAC) को असंवैधानिक करार देते हुए रद्द कर दिया था। उसमें भी जस्टिस चेलामेश्वर ने बाकी चार जजों से अलग फैसला सुनाया था। जस्टिस चेलामेश्वर ने तब भी कोलेजियम को लेकर कुछ सवाल उठाए थे। जस्टिस चेलामेश्वर ने लिखा ता कि कोलेजियम में भी पारदर्शिता होनी चाहिए। वह इस बात के भी खिलाफ थे कि जजों की नियुक्ति प्रक्रिया में सरकार की हिस्सेदारी नहीं होनी चाहिए।
दरअसल, बुधवार को कोलेजियम की मीटिंग होनी थी। उससे पहले ही जस्टिस ने यह पत्र लिख दिया। पत्र में जस्टिस जे चेलामेश्वर ने लिखा है कि वह आगे होने वाली मीटिंग में नहीं आएंगे। हालांकि, जस्टिस जे चेलामेश्वर ने जानने वालों का कहना है कि उन्होंने चीफ जस्टिस को लिखे हुए खत को सार्वजनिक करने से मना कर दिया है। जिससे न्यायालय की गरिमा बनी रहे।
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