N Biren Singh Net Worth: मणिपुर के मुख्यमंत्री एन बीरेन सिंह ने राज्य में दो साल से जातीय हिंसा भड़कने के बाद आज इस्तीफा दे दिया। सिंह के साथ भारतीय जनता पार्टी के नेता संबित पात्रा, राज्य बीजेपी अध्यक्ष ए शारदा और कम से कम 19 विधायक भी थे। रविवार की सुबह एन बीरेन सिंह ने नई दिल्ली में केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह और बीजेपी के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा से मुलाकात की। आइए अब जानते हैं कि मणिपुर के मुख्यमंत्री एन बीरेन सिंह कितनी संपत्ति के मालिक हैं।
1 करोड़ से ज़्यादा की कुल संपत्ति वाले बीरेन सिंह पूर्वोत्तर के सबसे गरीब मुख्यमंत्री होने का गौरव रखते हैं। उनके चुनावी हलफनामे से पता चलता है कि उनके पास 1,08,46,392 की संपत्ति है। यह उनके दामाद आरके इमो सिंह की संपत्ति से काफी कम है। एन बीरेन सिंह के दामाद ने पांच करोड़ की संपत्ति घोषित की है। इससे वह निवर्तमान सीएम से लगभग पांच गुना ज्यादा अमीर हो गए हैं।
बीरेन सिंह की संपत्ति का ब्यौरा
मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक, निवर्तमान मुख्यमंत्री एन बीरेन सिंह की चल संपत्ति 69.46 लाख है। वहीं अचल संपत्ति 14.66 लाख है। 2020-21 में एन बीरेन सिंह की आय 24.23 लाख है। इसके अलावा 1.75 लाख रुपये की एक वाल्थर 38 पिस्टल और 5.97 लाख रुपये के गहने भी हैं। एन बीरेन सिंह की संपत्ति 2017 की तुलना में साल 2022 में काफी कम हो गई थी। उनकी संपत्ति में 12 फीसदी की कमी आई।
मणिपुर के सीएम एन बीरेन सिंह ने दिया इस्तीफा
कौन हैं एन बीरेन सिंह?
मणिपुर यूनिवर्सिटी से बीए की डिग्री हासिल बीरेन ने अपना करियर एक फुटबॉलर के तौर पर शुरू किया और बीएसएफ में भर्ती हुए। उन्होंने घरेलू प्रतियोगिताओं में अपनी टीम के लिए खेला। उन्होंने डूरंड कप टूर्नामेंट में भी भाग लिया। 1 जनवरी 1961 को इंफाल में जन्मे मणिपुर के मुख्यमंत्री ने 1992 में पत्रकारिता में कदम रखा और स्थानीय भाषा में दैनिक नाहरोलगी थोडांग शुरू किया। उन्होंने 2001 तक इस अखबार के संपादक के रूप में काम किया। बीरेन सिंह ने 2002 में राजनीति में एंट्री की और डेमोक्रेटिक रिवोल्यूशनरी पीपुल्स पार्टी में शामिल हो गए। उन्होंने विधानसभा चुनाव लड़ा और हेइंगंग सीट से जीत हासिल की। उन्हें 2003 में मणिपुर का सतर्कता राज्य मंत्री नियुक्त किया गया और उन्हें वन एवं पर्यावरण मंत्री का अतिरिक्त प्रभार दिया गया।
बाद में वे कांग्रेस में शामिल हो गए और 2007 के विधानसभा चुनावों में सीट बरकरार रखी। उसके बाद बीरेन सिंह को मणिपुर का सीएएफएंडपीडी मंत्री बनाया गया। मणिपुर के सीएम ने 2012 के विधानसभा चुनावों में लगातार तीसरी बार इस सीट पर कब्जा किया। सितंबर 2016 में उन्होंने राज्य के तत्कालीन मुख्यमंत्री ओकराम इबोबी सिंह के खिलाफ विद्रोह करने के बाद मणिपुर विधानसभा से इस्तीफा दे दिया। अक्टूबर 2016 में बीरेन भारतीय जनता पार्टी में शामिल हो गए। 2017 में उन्होंने हीनगांग सीट से विधानसभा चुनाव लड़ा और जीत हासिल की, लगातार चौथी बार सीट बरकरार रखी। उन्होंने 15 मार्च, 2017 को मणिपुर के मुख्यमंत्री के रूप में शपथ ली और राज्य में मुख्यमंत्री बनने वाले पहले बीजेपी नेता बन गए। हिंसा की 77 फीसदी घटनाएं अकेले मणिपुर से पढ़ें पूरी खबर…