Goa Night Club Case: गोवा के फेमस नाइट क्लब में भीषण आग लगी थी। इस मामले में आरोपी बनाए गए क्लब के मालिक सौरभ लूथरा और गौरव लूथरा की अग्रिम जमानत याचिका का दिल्ली की रोहिणी कोर्ट ने खारिज कर दिया है। जज वंदना के आदेश के चलते दोनों भाइयों की गिरफ्तारी का रास्ता साफ हो गया है।

लूथरा ब्रदर्स ने गिरफ्तारी से बचने के लिए अग्रिम जमानत याचिका लगाई थी लेकिन रोहिणी कोर्ट की जज वंदना ने लूथरा ब्रदर्स की उम्मीदों को झटका दे दिया, जिसके चलते अब इन दोनों भाइयों की गिरफ्तारी में कोई बाधा नहीं होगी।

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वकील ने अग्रिम जमानत के लिए दिए ये तर्क

लूथरा ब्रदर्स की तरफ से सीनियर एडवोकेट तनवीर अहमद ने कोर्ट में पक्ष रखा। FIR के मुताबिक, यह घटना लापरवाही के कारण हुई थी न कि हत्या के इरादे से हुई। लूथरा भाइयों के वकील ने कहा कि आवेदकों के परिवार को खतरा है और वे जीवन की सुरक्षा के लिए कोर्ट के समक्ष हैं, न कि फरार हैं। उन्होंने कहा कि कानून के तहत निर्दोषता की धारणा है और आरोपी दोषी नहीं हैं।

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वकील ने कोर्ट को बताया कि दोनों भाई जांच में शामिल होने के लिए तैयार हैं लेकिन फिर भी उनके खिलाफ सीधे वॉरंट जारी कर दिया गया, जबकि जांच में शामिल होने के लिए कोई नोटिस दिया ही नहीं गया। उन्होंने तर्क दिया कि लूथरा के मैनेजर पूरे भारत में 40 रेस्तरां चलाते हैं और दिल्ली में बैठे लोग हर जगह मौजूद नहीं हो सकते। वकील ने तर्क दिया कि गिरफ्तारी गुस्से या बदले की भावना से नहीं की जा सकती।

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पुलिस ने किया अग्रिम जमानत याचिका का विरोध

लूथरा भाइयों द्वारा दायर अग्रिम जमानत याचिका का गोवा पुलिस ने कड़ा विरोध किया। पुलिस ने कोर्ट को बताया कि नाइट क्लब में गौरव लूथरा, सौरभ लूथरा और अजय गुप्ता हस्ताक्षरकर्ता हैं। पुलिस ने यह भी बताया है कि क्लब का लाइसेंस पहले ही समाप्त हो चुका था लेकिन उसे रिन्यू नहीं कराया गया था।

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गोवा पुलिस ने यह भी कहा है कि लूथरा भाइयों की ओर से जांच में किसी भी प्रकार का कोई सहयोग नहीं किया गया है। इसीलिए कोर्ट की ओर से किसी सुरक्षा के हकदार कतई नहीं हैं। वकील ने कहा है कि दोनों भाई 7 दिसंबर को भारत छोड़कर चले गए, जबकि उन्होंने दावा किया था कि वे 6 दिसंबर की रात को निकले थे। वकील ने तर्क दिया कि इससे पता चलता है कि सौरभ और गौरव लूथरा ने अदालत और अधिकारियों को गुमराह किया और देश छोड़ दिया।

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सीएम प्रमोद सावंत बोले- उन्हें गोवा वापस लाएंगे

इस मुद्दे पर गोवा के मुख्यमंत्री प्रमोद सावंत ने कहा कि हम उन्हें जल्द से जल्द गोवा लाएंगे। गोवा पुलिस और सीबीआई की टीमें थाईलैंड जाएंगी…अब से किसी भी प्रकार का उल्लंघन और अतिक्रमण बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। दो निलंबित महिला सरकारी अधिकारी जांच में सहयोग कर रही हैं, जबकि एक अधिकारी सहयोग नहीं कर रही है और इस संबंध में कार्रवाई की जाएगी।

सीएम ने कहा कि यह सुनिश्चित करने के लिए कि ऐसी दुर्घटना दोबारा न हो, वरिष्ठ अधिकारियों, अग्निशमन अधिकारियों और भवन निर्माण अधिकारियों वाली हमारी प्रवर्तन टीम विभिन्न क्लबों और रेस्तरां का दौरा कर रही है। जिन क्लबों में गंभीर उल्लंघन पाए जाएंगे, उन्हें बंद कर दिया जाएगा।

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