Cafe Coffee Day के मालिक वीजी सिद्धार्थ, जो कि बीती 29 जुलाई की शाम से लापता चल रहे थे, उनका शव बुधवार की सुबह बरामद हुआ है। शव होइगेबाजार इलाके में नेत्रावती नदी के किनारे मिला है। बता दें कि वीजी सिद्धार्थ नेत्रावती नदी के पुल से ही लापता हुए थे। बता दें कि 4200 करोड़ रुपए की कीमत वाले कैफे कॉफी डे (CCD) के संस्थापक और चेयरमैन वीजी सिद्धार्थ भारी कर्ज के बोझ तले दबे थे, जिसके चलते वह काफी दबाव में थे।
कैफे कॉफी डे ग्रुप पर करीब 4500 करोड़ रुपए से ज्यादा का कुल कर्ज था। जिसमें से कंपनी पर 2400 करोड़ रुपए का नेट कर्ज है। कंपनी के चीफ फाइनेंस अधिकारी आर.राम मोहन के अनुसार, ग्रुप की होल्डिंग कंपनी पर 300 करोड़, मेटल और माइनिंग कंपनी पर 1300 करोड़, ग्रुप की रियल एस्टेट फर्म टैंगलिन डेवलेपमेंट्स लिमिटेड पर 800 करोड़ रुपए और ग्रुप के कॉफी बिजनेस पर 300 करोड़ रुपए का कर्ज है। जिसके चलते प्राइवेट इक्विटी निवेशक कंपनी में अपने शेयर बेचना चाहते थे। इसके अलावा आयकर विभाग की कार्रवाई को लेकर भी वह दबाव में थे।
इसके अलावा ग्रुप ने विभिन्न बैंकों, म्युचुअल फंड्स और एनबीएफसी आदि से भी कर्ज लिया हुआ था। मंगलवार को वीजी सिद्धार्थ का एक पत्र सार्वजनिक हुआ था। जिसमें उन्होंने एक प्राइवेट इक्विटी पार्टनर पर कॉफी डे एंटरप्राइजेज के शेयर खरीदने के मुद्दे पर भी काफी दबाव में होने की बात कही थी। वित्तीय वर्ष 2018-19 में कंपनी को 128 करोड़ रुपए का नेट प्रॉफिट हुआ था, जबकि कंपनी का सालाना टर्नओवर 4,264 करोड़ रुपए था।
अपने पत्र में वीजी सिद्धार्थ ने लिखा कि वह लंबे समय तक लड़े, लेकिन आज वह हार मान रहे हैं और अब ज्यादा दबाव नहीं ले सकते हैं। इस पत्र में आयकर विभाग के एक डायरेक्टर जनरल की तरफ से बनाए जा रहे दबाव का भी जिक्र किया है।
बता दें कि वीजी सिद्धार्थ ने साल 1993 में कैफे कॉफी डे की शुरुआत की थी और आज इसके देशभर में कंपनी के 1600 रिटेल स्टोर्स हैं। इनके अलावा कंपनी के कुछ स्टोर्स चेक रिपब्लिक, ऑस्ट्रिया, मलेशिया जैसे देशों में भी हैं। कंपनी में करीब 18 हजार कर्मचारी काम करते हैं।