Atal Bihari Vajpayee: भारत रत्न, भारतीय जनता पार्टी के कद्दावर नेता और देश के पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी शुक्रवार (17 अगस्त) को पंचतत्व में विलीन हो गए। दिल्ली स्थित स्मृति स्थल पर उनका अंतिम संस्कार राजकीय सम्मान के साथ किया गया। बेटी नमिता भट्टाचार्य ने उन्हें मुखाग्नि दी। अंतिम विदाई की रस्म के दौरान पूर्व पीएम की नातिन निहारिका भी मौजूद रहीं। उन्हीं को वह राष्ट्रीय ध्वज सौंपा गया, जिसमें वाजपेयी का पार्थिव शरीर लपेट कर अंतिम दर्शन के लिए रखा गया था। इससे पहले प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद, उपराष्ट्रपति एम.वैंकेया नायडू, लोकसभा अध्यक्ष सुमित्रा महाजन और देश की तीनों सेनाओं के मुखियाओं के अलावा कई विदेशी नेताओं ने पूर्व पीएम को श्रद्धासुमन अर्पित किए थे।
Atal Bihari Vajpayee: अनंत सफर को अटल बिहारी वाजपेयी रवाना, राजकीय सम्मान संग हुआ अंतिम संस्कार
दिल्ली स्थित स्मृति स्थल पर उनका अंतिम संस्कार राजकीय सम्मान के साथ किया गया। बेटी नमिता भट्टाचार्य ने उन्हें मुखाग्नि दी।
Written by जनसत्ता ऑनलाइन
Updated:

Jansatta.com पर पढ़े ताज़ा राष्ट्रीय समाचार (National News), लेटेस्ट हिंदी समाचार (Hindi News), बॉलीवुड, खेल, क्रिकेट, राजनीति, धर्म और शिक्षा से जुड़ी हर ख़बर। समय पर अपडेट और हिंदी ब्रेकिंग न्यूज़ के लिए जनसत्ता की हिंदी समाचार ऐप डाउनलोड करके अपने समाचार अनुभव को बेहतर बनाएं ।
First published on: 16-08-2018 at 09:00 IST
पूर्व पीएम का पार्थिव शरीर जिस तिरंगे में लपेट कर रखा गया था, उसे उनकी नातिन निहारिका को सौंपा गया। उससे पहले शाम को ट्रक के जरिए स्मृति स्थल लाया गया था। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और बीजेपी के राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह उस दौरान पार्थिव शरीर के साथ चल रहे थे। अंतिम यात्रा में पीएम व बीजेपी अध्यक्ष के अलावा पार्टी के कई बड़े नेता व विभिन्न राज्यों के मुख्यमंत्रियों ने हिस्सा लिया था।
पूर्व पीएम के पार्थिव शरीर को जिस राष्ट्रीय ध्वज में लपेट कर अंतिम दर्शन के लिए रखा गया था, वह अंतिम विदाई की रस्म के दौरान उनकी नातिन निहारिका को सौंपा गया है।
बीजेपी मुख्यालय में पूर्व पीएम के प्रति संवेदना व्यक्त करने के बाद भूटान के नरेश ने स्मृति स्थल पहुंच कर उन्हें श्रद्धांजलि अर्पित की। वहीं, अफगानिस्तान के पूर्व राष्ट्रपति हामिद करजई और श्रीलंका के कार्यवाहक विदेश मंत्री लक्ष्मण किरिएल्ला ने भी स्मृति स्थल पहुंच कर अटल जी को श्रद्धांजलि दी।
उप राष्ट्रपति एम.वैंकेया नायडू, पूर्व पीएम मनमोहन सिंह, गृह मंत्री राजनाथ सिंह, बीजेपी अध्यक्ष अमित शाह, वरिष्ठ बीजेपी नेता एलके अडवाणी व कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी भी स्मृति स्थल पहुंचे हैं।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के अलावा राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद, रक्षा मंत्री निर्मला सीतारमण, लोकसभा की अध्यक्ष सुमित्रा महाजन ने भी पूर्व पीएम के पार्थिव शरीर को आखिरी विदाई दी।
यूपीए सरकार में प्रधानमंत्री रह चुके मनमोहन सिंह और कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी दिल्ली के स्मृति स्थल पहुंच चुके हैं। वे यहां पर वाजपेयी के अंतिम संस्कार में हिस्सा लेंगे।
पूर्व पीएम के निधन पर नई दिल्ली स्थित ब्रिटिश हाई कमीशन के कार्यालय पर शुक्रवार को ब्रिटेन का राष्ट्रीय ध्वज आधा फहराया गया। ऐसा पूर्व पीएम के प्रति संवेदना व्यक्त करने के लिए किया गया।
भारत रत्न और पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी अपने पद से बहुत ऊंचे कद की शख्सियत थे। यही कारण है कि देश ही नहीं बल्कि दुनिया के कई देशों ने उनके निधन पर संवेदना प्रकट की है। अटल को श्रद्धांजलि देने वालों में अमेरिका, ब्रिटेन, रूस, जापान, बांग्लादेश, श्रीलंका, नेपाल, भूटान और पाकिस्तान सरीखे देश शामिल हैं।
बीजेपी मुख्यालय से स्मृति स्थल की दूरी तकरीबन ढाई किलोमीटर की है।
बीजेपी मुख्यालय पर मुलायम सिंह यादव ने पहुंचकर पूर्व पीएम को श्रद्धांजलि दी। वहीं, श्रीलंका के कार्यवाहक विदेश मंत्री लक्ष्मण किरिएला भी शुक्रवार को राजधानी दिल्ली पहुंचे हैं। वह भारतीय पूर्व पीएम के अंतिम संस्कार में शरीक होंगे।
वाजपेयी के सहायक रहे सुधींद्र कुलकर्णी ने उनके निधन को लेकर शुक्रवार को कहा कि वह बेहद सरल इंसान थे। हर किसी से इज्जत से पेश आते थे। पूछा जाता था कि संवैधानिक दायरे में रह कर कैसे कश्मीर का मसला हल करेंगे? जवाब में वह कहते थे- इंसानियत से। यही वजह है कि उन्होंने कश्मीरियों का दिल जीता था।
पीएम नरेंद्र मोदी दोबारा पहुंचे BJP मुख्यालय, अंतिम दर्शन को एंट्री बंद; बस निकलने वाली है अटल की अंतिम यात्रा अंतिम दर्शन के लिए बीजेपी मुख्यालय में एंट्री बंद। थोड़ी देर में बस निकलने वाली है पूर्व पीएम की अंतिम यात्रा। शाम चार बजे स्मृति स्थल पर उनका अंतिम संस्कार किया जाएगा। पीएम मोदी इस बीच दोबारा पार्टी मुख्यालय पहुंचे हैं।
कम्युनिस्ट पार्टी ऑफ इंडिया (मार्क्सवादी) के महासचिव सीताराम येचुरी ने शुक्रवार को पूर्व पीएम को श्रद्धांजलि दी। उन्होंने कहा कि यह अटल जी की खूबी थी कि उन्होंने राजनीतिक और वैचारिक मतभेदों से होने वाले नुकसान से इंसानियत को कभी भी प्रभावित नहीं होने दिया।
महानायक अमिताभ बच्चन ने पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी को श्रद्धांजलि अर्पित करते हुए कहा कि एक कवि, एक लेखक, एक प्रबुद्ध मन और दयालु शख्स इस दुनिया से रुखसत हो गए हैं। पूर्व प्रधानमंत्री के निधन से पूरा राष्ट्र शोकाकुल है। दिवंगत कवि हरिवंश राय बच्चन के बेटे अमिताभ ने अपने ब्लॉग पर लिखा, "वह मेरे पिता और उनके कामों के प्रशंसक थे और ऐसे कई अवसर रहे, जब मैं दोनों की मुलाकात के दौरान मौजूद रहा।" उन्होंने कहा कि उनके पिता वाजपेयी को तब से जानते थे, जब वह (वाजपेयी) छात्र थे। वह वाजपेयी की वाक शैली और सज्जनता से बेहद प्रभावित थे।
दिल्ली पुलिस ने शुक्रवार को कहा कि उन्होंने पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी की अंतिम यात्रा और अंतिम संस्कार समारोह के मद्देनजर शहर में सुरक्षा के कड़े बंदोबस्त किए हैं। वाजपेयी का अंतिम संस्कार स्मृति स्थल पर किया जाएगा। पुलिस के अनुसार, "हमने अंतिम यात्रा और संस्कार के लिए सुरक्षा के व्यापक बंदोबस्त किए हैं।" पुलिस उपायुक्त (नई दिल्ली) मधुर वर्मा ने कहा, "हम यह सुनिश्चित कर रहे हैं कि जो लोग
पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी के तिरंगे में लिपटे पार्थिव शरीर को यहां आम जनता के दशनार्थ के लिए भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) मुख्यालय लेकर जाया जा रहा है। फूलों से ढके ताबूत में रखे पार्थिव शरीर को भाजपा के 6-ए दीन दयाल उपाध्याय मार्ग स्थित मुख्यालय ले जाया जा रहा है। भाजपा मुख्यालय से राष्ट्रीय स्मृति स्थल पहुंचने के लिए उनकी अंतिम यात्रा दोपहर एक बजे से शुरू होगी।
पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी का पार्थिव शरीर उनके आवास से अब भाजपा मुख्यालय लाया जा रहा है। इस जुलूस में सैकड़ों लोग जुड़ चुके हैं और 'अटल बिहारी अमर रहें' और 'वंदे मातरम' के नारे लग रहे हैं।
ट्रैफिक पुलिस ने आज एहतियातन कृष्णा मेनन मार्ग, तुगलक रोड, अकबर रोड, तीस जनवरी मार्ग, मान सिंह रोड, शहाजहां रोड, जाकिर हुसैन मार्ग, तिलक मार्ग के कुछ हिस्से, भगवान दास रोड, सिकंदर रोड, भैरों मार्ग से मथुरा रोड, आईपी मार्ग और रिंग रोड के कुछ हिस्सों को लोगों की आवाजाही के लिए बंद कर दिया है। इसके साथ ही आईएसबीटी कश्मीरी गेट से लेकर शांति वन तक जाने वाली निचली रिंग रोड और आईपी फ्लाईओवर से राजघाट की ओर आने वाले ट्रैफिक को भी रोक दिया गया है।
थलसेना प्रमुख जनरल बिपिन रावत, नौसेना प्रमुख एडमिरल सुनील लाम्बा, राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार अजीत डोभाल ने अटल जी को श्रद्धासुमन अर्पित किए।
छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री डॉ. रमन सिंह ने देश के पूर्व प्रधानमंत्री और छत्तीसगढ़ राज्य के निर्माता 'भारत रत्न' अटल बिहारी वाजपेयी के निधन पर गहरा दुख व्यक्त किया है। उन्होंने कहा, "अटल जी को मैं किन शब्दों में बिदा करूं, यह मुझे समझ में नहीं आ रहा। वे मेरे गुरु और पितातुल्य थे। उनके निधन से 125 करोड़ भारतीयों की तरह मैं भी बहुत स्तब्ध और विचलित हूं।"
महान गायिका लता मंगेशकर ने कहा, "ऋषितुल्य पूर्व प्रधानमंत्री भारत रत्न अटल बिहारी वाजपेयी के स्वर्गवास की वार्ता सुनके मुझे ऐसा लागा जैसे मेरे सिर पर पहाड़ टूटा है क्योंकि मैं उनको पिता समान मानती थी और उन्होंने मुझे अपनी बेटी बनाया था। मुझे वो इतने प्रिय थे कि मैं उनको दादा कहके बुलाती थी। आज मुझे वैसा दुख हुआ है जैसे मेरे पिताजी के स्वर्गवास के समय हुआ था। ईश्वर उनकी आत्मा को शांती दे।" रजनीकांत ने कहा, "महान राजनेता श्री वाजपेयीजी के निधन के बारे में सुनकर बहुत दुखी हूं। भगवान उनकी आत्मा को शांति दे।"
संजय दत्त ने वाजपेयी के निधन पर दुख व्यक्त करते हुए कहा, "वाजपेयी का जाना हमारे देश का बहुत बड़ा नुकसान है। वह हमारे करीबी पारिवारिक मित्र थे और उनकी विरासत को हमेशा याद किया जाएगा। आपके नि:स्वार्थ सेवा के लिए धन्यवाद, सर! मेरी संवेदनाएं सभी के साथ हैं।" अभिनेता व निर्देशक फरहान अख्तर ने कहा, "अटल बिहारी वाजपेयी की आत्मा को शांति मिले। आपको हमेशा भारत के महान नेताओं में से एक, आदर्श राजनेता और सबसे ज्यादा शांति और एकता के लिए खड़े एक इंसान के रूप में याद किया जाएगा।"
पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी की अंत्येष्टि शुक्रवार शाम चार बजे स्मृति वन में किया जाएगा। राजघाट के पास शांति वन में बने स्मृति स्थल में गुरुवार को रात से ही तैयारियां शुरू कर दी गईं थीं। अंतिम संस्कार के बाद यहीं पर पूर्व प्रधानमंत्री का समाधि स्थल बनाया जाएगा। केंद्रीय मंत्रिमंडल की बैठक में इस बाबत फैसला किया गया। उनकी समाधि दो पूर्व प्रधानमंत्रियों- जवाहरलाल नेहरू (शांति वन) और लाल बहादुर शास्त्री (विजय घाट) की समाधियों के बीच बनाई जाएगी। गुुरुवार रात में ही स्मृति स्थल पर सुरक्षा इंतजाम कड़े कर दिए गए। स्मृति स्थल पर सफाई और अन्य इंतजाम शुरू कर दिए गए। सुरक्षा बलों ने आसपास के इलाकों में ऐहतियातन तलाशी अभियान भी चलाया। गृह मंत्रालय के अधिकारियों के मुताबिक, सुरक्षा बलों को स्मृति स्थल के अंदर और बाहर तैनात किया गया है। सीमा सुरक्षा बल की एक टुकड़ी पहले से ही स्मृति स्थल की निगरानी करती रही है। उस टुकड़ी के अलावा भी अतिरिक्त सुरक्षाकर्मी तैनात किए गए हैं।
जाब के पूर्व मुख्यमंत्री प्रकाश सिंह बादल ने गुरुवार को पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी के निधन पर शोक व्यक्त करते हुए कहा कि उन्होंने जितने भी नेताओं के साथ काम किया, उनमें वे सबसे शीर्ष नेता थे और विश्व पटल पर सबसे महान राजनेताओं में से एक थे। शिरोमणि अकाली दल के संरक्षक ने यहां अपने शोक संदेश में कहा, "भारत वाजपेयी जी को हमेशा शांति, सांप्रदायिक एकता और भारत की समृद्ध विरासत के प्रतीक के रूप में जानेगा।" अकाली दल केंद्र में भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) की अगुआई वाली राजग सरकार में सहयोगी है।
पंजाब के पांच बार मुख्यमंत्री रह चुके बादल ने कहा, "उनकी (वाजपेयी की) तरह बहुत कम लोग ही भारतीय भावना का प्रतिनिधित्व कर सके हैं। भारत ने आज एक दूरदर्शी नेता और शायद अपने सबसे यशस्वी और विनम्र बेटे को खो दिया है। इस नुकसान की भरपाई में बहुत समय लगेगा।" फरवरी 1999 में तत्कालीन प्रधानमंत्री वाजपेयी की लाहौर की बस यात्रा याद करते हुए अकाली दल के नेता ने कहा कि यह उनके साहस का और कश्मीर मुद्दे को लेकर उनके दृष्टिकोण का प्रतीक था।
स्वर कोकिला लता मंगेशकर ने कहा कि भारत रत्न अटल बिहारी वाजपेयी के निधन की खबर सुनकर वह स्तब्ध हैं। भारत रत्न ने लता ने कहा, " मैं उन्हें पिता के समान मानती थी और वह मुझे अपनी बेटी जैसा मानते थे। मैं हमेशा उनको दद्दा कह कर बुलाती थी। आज मुझे वैसा ही दुख हुआ है जैसा कि मेरे पिता के स्वर्गवास के समय हुआ था।" टाटा ट्रस्ट के चेयरमैन रतन एन टाटा ने कहा, "वाजपेयी जी महान नेता थे। उनका दिल करुणा से भरा था और वह हास्य रंग के भी थे। वह हम सब को हमेशा याद आएंगे।" टाटा संस समूह के चेयरमैन एन चंद्रशेखरन ने कहा, "देश ने विश्व स्तर पर स्वतंत्र भारत के एक महान नेता को खो दिया। वाजपेयी जी ने महान ज्ञान, दूरदर्शिता और प्यार के साथ भारत का नेतृत्व किया।" अपोलो अस्पताल के संस्थापक-अध्यक्ष डाक्टर प्रताप रेड्डी ने वाजपेयी के दयालु और स्नेही रवैये को याद किया, जब उन्होंने एक चिकित्सा स्थिति का पता लगाया और उसका इलाज किया जिसकी कि उन्हें सख्त जरूरत थी। रेड्डी ने कहा, "वह अच्छे से ठीक हुए और फिर प्रधानमंत्री बने। जब वह अपने घर पर अस्वस्थ थे तो मैंने उनसे मुलाकात की थी। मैंने अपना एक खास दोस्त खो दिया।"
वाजपेयी को 2014 में देश के सर्वोच्च सम्मान भारत रत्न से सम्मानित किया गया था। उनके जन्मदिवस 25 दिसंबर को सुशासन दिवस के रूप में मनाया जाता है। वाजपेयी 3 बार भारत के प्रधानमंत्री रहे। पहली बार वह 1996 में प्रधानमंत्री बने और उनकी सरकार सिर्फ 13 दिनों तक ही चल पाई थी। वर्ष 1998 में वह दूसरी बार प्रधानमंत्री बने, तब उनकी सरकार 13 महीने तक चली थी। 1999 में वाजपेयी तीसरी बार प्रधानमंत्री बने और पांच सालों का कार्यकाल पूरा किया। वाजपेयी को 1971 में बांग्लादेश की स्वतंत्रता के लिए पाकिस्तान पर विजय प्राप्त करने के बाद इंदिरा गांधी को दुर्गा कहकर प्रशंसा करने के लिए भी जाना जाता है। उनमें विदेश नीति मुद्दे की विशिष्ट योग्यता थी और तत्कालीन प्रधानमंत्री नरसिम्हा राव ने उन्हें संयुक्त राष्ट्र मानवधिकार कांफ्रेंस में पाकिस्तान के कश्मीर अभियान का जवाब देने के लिए भारतीय प्रतिनिधिमंडल की अगुवाई करने के लिए चुना था।
टाटा ट्रस्ट के चेयरमैन रतन एन टाटा ने कहा, 'वाजपेयी जी महान नेता थे। उनका दिल करुणा से भरा था और वह हास्य रंग के भी थे। वह हम सब को हमेशा याद आएंगे।' वहीं टाटा संस समूह के चेयरमैन एन चंद्रशेखरन ने कहा, 'देश ने विश्व स्तर पर स्वतंत्र भारत के एक महान नेता को खो दिया। वाजपेयी जी ने महान ज्ञान, दूरदर्शिता और प्यार के साथ भारत का नेतृत्व किया।'
लता मंगेशकर ने कहा कि भारत रत्न अटल बिहारी वाजपेयी के निधन की खबर सुनकर वह स्तब्ध हैं। लता ने कहा, " मैं उन्हें पिता के समान मानती थी और वह मुझे अपनी बेटी जैसा मानते थे। मैं हमेशा उनको दद्दा कह कर बुलाती थी। आज मुझे वैसा ही दुख हुआ है जैसा कि मेरे पिता के स्वर्गवास के समय हुआ था।"
अटल बिहारी वाजपेयी की आत्मा की शांति और सम्मान के प्रतीक के रूप में छत्रपति शिवाजी महाराज टर्मिनस रेलवे स्टेशन (सीएमएसटी) की लाइट्स को बंद किया गया है।
उत्तर प्रदेश, झारखंड, बिहार और उत्तराखंड सहित कई राज्यों में शुक्रवार को स्कूलों और कॉलेज में छुट्टी की घोषणा भी कर दी गई है।
पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी के निधन पर सात दिन के राष्ट्रीय शोक और पूरे राजकीय सम्मान के साथ उनके अंतिम संस्कार की घोषणा की है। इस दौरान भारत और विदेश में भारतीय दूतावासों में 16 अगस्त से 22 अगस्त के बीच राष्ट्रीय ध्वज आधा झुका रहेगा। सरकार ने यह भी घोषणा कि है कि राष्ट्रीय शोक की अवधि के दौरान कोई आधिकारिक समारोह भी आयोजित नहीं होगा। सरकारी स्तर पर किसी तरह का मनोरंजक कार्यक्रम, सामूहिक भोज आदि पर रोक रहेगी।
पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी के निधन पर पाकिस्तान के भावी प्रधानमंत्री इमरान खान ने भी उनके निधन पर शोक जाहिर किया है। उन्होंने शौक जताते हुए कहा कि भारत-पाक संबंधों के सुधार के लिए उनके प्रयासों को हमेशा याद किया जाएगा। विदेश मंत्री के रूप में श्री वाजपेयी ने भारत-पाक संबंधों में सुधार की जिम्मेदारियों को बखूबी निभाया था।#AtalBihariVaajpayee was a tall political personality of the subcontinent.His attempts for the betterment of India-Pak relationship will always be remembered. Mr Vajpayee,as a foreign minister,took responsibility of improving India-Pak ties: Pak PM designate Imran Khan (file pic) pic.twitter.com/NQCWOzLOsw— ANI (@ANI) August 16, 2018
भारत में ब्रिटेन के हाई कमीशनर डोमिनिक एसकीथ ने भी अटल बिहारी वाजपेयी के निधन पर शोक व्यक्त करते हुए कहा कि हम उन्हें भारत के महानतम नेताओं में से एक के रूप में हमेशा याद करेंगे।
बांग्लादेश की पीएम शेख हसीना ने अटल बिहारी वाजपेयी के निधन पर शौक व्यक्त करते हुआ कहा कि भारतीयों से जुड़े मुद्दों और क्षेत्रीय शांति के मामले में उनका का योगदान हमेशा याद रखा जाएगा।