होली फागुन महीने के पूरे चांद वाले दिन मनाई जाती है। यह भारत के मुख्य त्योहारों में से एक हैं। यह असुर पूतना के अंत के मौके पर मनाया जाता है। प्रह्लाद शब्द का अर्थ होता है खुशी और उत्साह। इस त्योहार के पीछे नई फसल का आगमन करने का लक्ष्य होता है। जब फसल पूरी तरह से पकती नहीं हो उस समय इसे पवित्र अग्नि के जरिए भगवान को अर्पित किया जाता है। इसके बाद यह प्रसाद के तौर पर ब्रह्मांड में शांति और समृद्धि को फैलाता है। आप इस मौके पर अपनी मनचाही इच्छा को पूरा कर सकते हैं और इसके लिए आपको कुछ मंत्रों का उच्चारण करना पड़ेगा। यह रही आपकी इच्छा को पूरा करने की विधि।
अगर आप अपने बिजनेस या नौकरी में वृद्धि चाहते हैं तो जॉब या बिजनेस करते हुए जितने साल हो गए हैं उन्हें गिने। इसके बाद उतने गोमती चक्र एक के बाद एक होली के दिन आग में डालें। इससे आपको समृद्धि मिलेगी।
अगर आप बुरी शक्ति से पीड़ित हैं या फिर आपको बिजनेस में मुश्किलें आ रही हैं तो होली के दिन भगवान हनुमान के मंदिर जाएं। मंदिर जाते समय अपने साथ धूप, दीप, अगरबत्ती और नजरबट्टू साथ जरूर ले जाएं। भगवान की मूर्ती के सामने अगरबत्ती और धूप जलाएं। इसके बाद ऊँ हनुमंते नम: का 108 बार जाप करें। नजरबट्टू को भगवान के चरणों में कुछ देर रखें फिर इसे काले धीगे में डालकर गले में पहन लें। इससे आपकी इच्छाएं पूरी होंगी।
अगर आप बहुत लंबे समय से सर्दी जुकाम से जूझ रहे हैं तो होली के दिन स्नान के बाद एक चांदी का टुकड़ा, सोने का सिक्का, चावल के कुछ दाने और पांच गोमती चक्र लें। इन सभी चीजों को लाल कपड़े में बांध ले अपने सिर के इर्द गिर्द सात बार घुमाएं और फिर इसे चलते पानी में बहा दें।
अगर शादीशुदा जोड़ों के बीच मतभेद है और आप छोटी छोटी बातों पर झगड़ा करते रहते हैं तो 7 गोमती चक्र, 7 छोटे नारियल, 7 मोती लाल कपड़े में लपेटें और इसे अपने पार्टनर के सिर के इर्द गिर्द सात बार घुमाएं और इसे होली की अग्नि में डाल दें। इसके बाद बिना पीछे मुड़े घर लौट आएं। अपने हाथ और पैर धोएं। आपको फर्क दिखना शुरू हो जाएगा।
