जापानी बॉक्सिंग की दुनिया इन दिनों गहरे सदमे में है। महज कुछ दिनों के भीतर, एक ही इवेंट में हिस्सा लेने वाले दो पेशेवर मुक्केबाजों की मौत ने खेल जगत को हिला दिया है। 28 साल के शिगेतोशी कोतारी और हिरोमासा उराकावा ने 2 अगस्त को टोक्यो के कोराकुएन हॉल में अलग-अलग मुकाबलों में हिस्सा लिया। मुकाबले के दौरान दोनों को ही गंभीर चोटें लगीं, जिसके चलते उन्हें जान गंवानी पड़ी।

शिगेतोशी कोतारी की यामातो हाटा के साथ मुकाबले के दौरान लगी चोटों के कारण पिछले शुक्रवार (8 अगस्त 2025) को मृत्यु हो गई। शिगेतोशी कोतारी की मौत के अगले दिन हिरोमासा उराकावा की शनिवार (9 अगस्त 2025) को मृत्यु हो गई। फेदरवेट वर्ग के 8वें राउंड में हिरोमासा उराकावा और योगी सैतो के बीच नॉकआउट मुकाबला हुआ था।

मुकाबले में हिरोमासा हार गए और उन्हें गंभीर चोटें आईं। बाद में 9 अगस्त को उनकी मृत्यु हो गई। कोतारी और उराकावा दोनों की सबड्यूरल हेमेटोमा के लिए सर्जरी हुई थी। यह एक ऐसी स्थिति है जिसमें किसी चोट के कारण खोपड़ी और मस्तिष्क के बीच खून जम जाता है। लगातार हो रही मौतों ने जापान बॉक्सिंग कमीशन (JBC) को झकझोर दिया है। जेबीसी इस संबंध में मंगलवार 12 अगस्त 2025 को एक आपात बैठक करेगा।

12 की जगह 10 राउंड का हुआ मुकाबला

JBC (जेबीसी) के सचिव-जनरल त्सुयोशी यासुकोची ने मीडिया से कहा, ‘हम इस खेल के प्रबंधक के रूप में अपनी जिम्मेदारी समझते हैं और जो भी कदम उठाना होगा, उठाएंगे।’ कोतारी की मौत के बाद JBC ने निर्णय लिया कि ओरिएंटल एंड पैसेफिक बॉक्सिंग फेडरेशन (OPBF) के सभी खिताबी मुकाबले अब 12 राउंड के बजाय 10 राउंड के होंगे।

यासुकोची ने माना कि मौजूदा समय में जापानी बॉक्सिंग की ‘ऑफेंसिव पावर’ काफी बढ़ गई है और खिलाड़ी पहले राउंड से ही जोरदार पंच मारने लगते हैं, जिससे 12 राउंड खतरनाक साबित हो सकते हैं।

दुनिया भर से संवेदनाएं

वर्ल्ड बॉक्सिंग काउंसिल (WBC) ने दोनों खिलाड़ियों के निधन पर गहरा दुख व्यक्त किया। अपने बयान में WBC ने कहा, ‘हम हिरोमासा उराकावा और शिगेतोशी कोतारी के निधन से स्तब्ध हैं। यह दुखद घटनाएं बॉक्सिंग परिवार के लिए अपूरणीय क्षति हैं।’ कोतारी ने करियर में 12 मुकाबले लड़े थे, जिसमें उन्होंने 8 जीते और 2 हारे थे, जबकि 2 ड्रॉ रहे थे। इसमें उन्हें 5 जीत नॉकआउट से मिलीं। उराकावा ने 14 में से 10 मुकाबले जीते थे, जिनमें 7 नॉकआउट जीत थीं, जबकि 4 मुकाबलों में हार झेली थी।

साल की तीसरी घटना

हिरोमासा उराकावा की मौत इस साल ऐसी तीसरी घटना है। इससे पहले फरवरी में आयरिश मुक्केबाज जॉन कॉनली की वेल्श के नाथन हॉवेल्स के खिलाफ मुकाबले के बाद मौत हो गई थी। कॉनी की मौत इंट्राक्रैनियल हेमरेज (एक ऐसी स्थिति जिसमें खोपड़ी में रक्तस्राव होता है) के बाद हुई थी। हिरोमासा उराकावा और शिगेतोशी कोतारी की मौत ने न केवल जापान, बल्कि पूरी दुनिया में बॉक्सिंग की सुरक्षा पर सवाल खड़े कर दिए हैं। JBC की मंगलवार को होने वाली इमरजेंसी मीटिंग में इस मुद्दे पर गंभीर चर्चा होने की संभावना है, ताकि आगे ऐसी त्रासदी से बचा जा सके।