भारतीय तीरंदाज दीपिका कुमारी लॉकडाउन के कारण रेंज पर निशाना लगाने का अभ्यास नहीं कर सकती लेकिन इस समय का इस्तेमाल अपने मंगेतर और साथी अंतरराष्ट्रीय तीरंदाज अतनु दास के लिये मांसाहारी खाना विशेषकर चिकन पकाना सीखकर कर रही हैं। दो साल पहले दोनों की सगाई हुई थी और शादी से पहले दोनों तोक्यो ओलंपिक पर ध्यान लगाना चाहते थे। लेकिन कोविड-19 महामारी के कारण टोक्यो ओलंपिक के 2021 तक स्थगित होने के बाद अब लगता है कि उनकी शादी इनसे पहले ही हो जायेगी।
दीपिका का कहना है कि, ”चावल और दाल पकाना आता था। अब मांसाहारी (विशेषकर चिकन) खाना बनाना सीख रही हूं।” यह पूछने पर कि उनकी मां कुछ आनलाइन टिप्स दे रही हैं कि चिकन कैसे बनाया जाता है तो उन्होंने कहा, ”मैं दिन की शुरूआत प्राणायम से करती हूं और फिर 45 मिनट तक अभ्यास करती हूं। नाश्ते के बाद खाना पकाना सीखती हूं।”
हालांकि पूर्व नंबर एक तीरंदाज ने कहा कि उन्होंने हॉल में पांच मीटर की रेंज बना ली है जिसमें दोनों दोपहर में करीब दो घंटे तक अभ्यास करते हैं, हालांकि लॉकडाउन से पहले वास्तविक अभ्यास शुरू नहीं होने वाला। दीपिका ने कहा, ”हम एक निशाना बनाकर डेढ से दो घंटे अभ्यास करते हैं। यह हालांकि रेंज की तरह का अभ्यास नहीं है। लेकिन हम अभ्यास करते हैं और घर पर ही रह रहे हैं।”
दीपिका ने 5 बार World Cup में गोल्ड मेडल हासिल कर चुकी हैं। World Cup के जरिए उन्होंने 13 सिल्वर मेडल और 5 ब्रोन्ज मेडल भी जीते हैं। वर्ल्ड कप के अलावा भी तीन गोल्ड मेडल उन्होंने अन्य प्रतियोगिताओं से प्राप्त किए हैं। एक गोल्ड मेडल उन्होंने Asian Archery Championships में हासिल किया था। Commonwealth Games ंमें भी दीपिका ने दो गोल्ड मेडल पर कब्जा किया था।
दीपिका को तीरंदाजी में पहला मौका 2005 में मिला जब उन्होने पहली बार अर्जुन आर्चरी अकादमी ज्वाइन किया। यह अकादमी झारखंड के मुख्यमंत्री अर्जुन मुंडा की पत्नी मीरा मुंडा ने खरसावां में शुरू की थी। तीरंदाजी में उनके प्रोफेशनल करियर की शुरुआत 2006 में हुई जब उन्होंने टाटा तीरंदाजी अकादमी ज्वाइन किया। उन्होने यहां तीरंदाजी के दांव-पेच सीखे। इस युवा तीरंदाज ने 2006 में मैरीदा मेक्सिको में आयोजित वर्ल्ड चैंपियनशिप में कम्पाउंट एकल प्रतियोगिता में स्वर्ण पदक हासिल किया।
