शशांक मनोहर ने इंटरनेशनल क्रिकेट काउंसिल (ICC) के अध्यक्ष पद से तुरंत प्रभार से इस्तीफा दे दिया है। उन्होंने इस्तीफे की वजह “निजी कारण” बताए हैं। मनोहर सिर्फ आठ महीने के लिए इस पद पर रहे। उन्हें मई 2016 में सर्वसम्मति से आईसीसी चेयरमैन बनाया गया था। यह पहला मौका था जब इस पद पर कोई स्वतंत्र अध्यक्ष काबिज हुआ था। इससे पहले वह बोर्ड ऑफ कंट्रोल फॉर क्रिकेट इन इंडिया (बीसीसीआई) के प्रेसिडेंट थे, जहां से कार्यकाल खत्म होने के तुरंत बाद उन्हें आईसीसी का कार्यभार दे दिया गया था। देश के मशहूर वकीलों में से एक रहे शशांक मनोहर पहले 2008 से 2011 तक बीसीसीआई प्रेसिंडेंट रहे, अक्टूबर 2015 में उन्होंने फिर से इस पद को संभाला था।
मनोहर ने आईसीसी सीईओ डेव रिचर्डसन को ईमेल के जरिये इस्तीफा भेजा जिसमें अचानक उनके यह कदम उठाने के कारण को स्पष्ट नहीं किया गया है। 59 साल के मनोहर का कार्यकाल दो साल का था। हालांकि शीर्ष सूत्रों के अनुसार मनोहर ने पद छोड़ने का फैसला किया क्योंकि ऐसा लगता है कि बीसीसीआई ने संवैधानिक और वित्तीय सुधारों को रोकने के लिए पर्याप्त समर्थन जुटा लिया है जिसे आईसीसी की अगली बोर्ड बैठक में पारित किया जाना था।
किसी भी सुधारवादी कदम को पारित करवाने के लिए दो-तिहाई बहुमत की जरूरत पड़ती है लेकिन संभावना है कि बीसीसीआई बांग्लादेश, श्रीलंका और जिंबाब्वे को अपनी तरफ करने में सफल रहा है। पता चला है कि इसी कारण से मनोहर ने तुरंत प्रभाव से इस्तीफा देने का फैसला किया है। मनोहर ने इस्तीफा देते हुए पत्र में लिखा, ‘‘मुझे पिछले साल निर्विरोध आईसीसी का पहला स्वतंत्र चेयरमैन चुना गया था। मैंने अपना सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन करने की कोशिश की और सभी निदेशकों के सहयोग से बोर्ड के संचालन और सदस्य बोर्ड से जुड़े मामलों का फैसला करते हुए स्वतंत्र और निष्पक्ष रहने का प्रयास किया।’’
Shashank Manohar steps down from the post of ICC chairperson due to personal reasons. pic.twitter.com/g8oauOVjBH
— ANI (@ANI) March 15, 2017

