BCCI सचिव अजय शिर्के ने लाेढ़ा कमेटी के सचिव गोपाल शंकरनारायणन के उस बयान पर निराशा जताई है। जो उन्‍होंने कथित तौर पर 9 अगस्‍त को हुई उनकी बैठक के दौरान बीसीसीआई सेलेक्‍टर्स के खिलाफ दिया था। द इंडियन एक्‍सप्रेस के हाथ अध्‍यक्ष अनुराग ठाकुर को भेजी गई वह ईमेल रिपोर्ट लगी है। जिसमें शिर्के ने दावा किया है कि शंकरनारायणन ने बीसीसीआई पर ‘भ्रष्‍टाचार’ को लेकर ‘मूकदर्शक’ बने रहने का आरोप लगाया था। शिर्के का दावा है कि शंकरनारायणन ने यहां तक कहा कि ”नौजवान क्रिकेट खिलाड़‍ियों की मांओं को सेलेक्‍टर्स के साथ सोने पर मजबूर किया जाता था, ताकि उनके बेटे का टीम में सेलेक्‍शन हो सके।” बीसीसीआई के सभी पदाधिकारियों को भेजी गई 14 पन्‍नों की रिपोर्ट में शिर्के लिखते हैं कि जिस बैठक में ठाकुर हिस्‍सा नहीं ले सके थे, वह बड़े सौहार्दपूर्ण माहौल में हुई थी। और उन्‍होंने कमेटी को बताया था कि बोर्ड रिव्‍यू पेटीशन दायर करने जा रहा है। इस समय मीटिंग खत्‍म हाेने वाली थी जब शंकरनारायणन ने जस्टिस लोढ़ा और उनके दो सहकर्मियों से कहा कि वे कुछ कहना चाहते हैं।

रिपोर्ट में लिखा गया है, ”उसके बाद सचिव ने मुझे संबोधित करते हुए कहा कि बीसीसीआई में बड़े पॅमाने पर उदासीनता बरती जा रही है। उन्‍होंने कहा कि बीसीसीआई में बड़े पैमाने पर हो रहे भ्रष्‍टाचार पर संस्‍था मूकदर्शक बनी हुई है।” शिर्के के मुताबिक, इसके बाद शंकरनारायणन ने सेलेक्‍टर्स पर पेरेंट्स से सेक्‍सुअल फेवर मांगने के आरोप भी लगाए। रिपोर्ट कहती है, ”उन्‍होंने ऐसे दिखाया जैसे यह क्रिकेट चयनकर्ताओं के बीच बेहद आम बात हो और बीसीसीआई इसे लेकर कुछ नहीं कर रही है। गोपाल शंकरनारायणन ने सभी सेलेक्‍टर्स का एक ही रंग में रंगना पूरी तरह गलत था, ऊपर से यह कहना कि बीसीसीआई ने अपने चयनकर्तोओं के खिलाफ कोई कारवाई नहीं की, से ऐसा लगता है कि कमेटी सचिव ये कहना चाहते हैं कि बोर्ड और उसकी स्‍टेट एसोसिएशंस नैतिक रूप से गिरी हुई हैं।”

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शिर्के का दावा है कि उन्‍होंने लोढ़ा कमेटी के सदस्‍यों को बताया कि आरोप ‘बेहूदा’ हैं और बीसीसीआई से जुड़े किसी शख्‍स ने ऐसे किसी मामले के बारे में नहीं सुना। जब इस बारे में शिर्के से संपर्क किया गया तो उन्‍होंने बताया, ”हमारे अध्‍यक्ष पिछली बैठक में हिस्‍सा नहीं ले सके क्‍योंकि वह संसद सत्र में व्‍यस्‍त थे और यह मेरी जिम्‍मेदारी है कि मैं बैठक में जो कुछ भी हुआ, उसकी विस्‍तृत रिपोर्ट फाइल करूं।” हालांकि शंकरनारायणन ने इस पर टिप्‍पणी करने से इनकार कर दिया है।