एशियन गेम्स के इतिहास में जिन खेलों में भारत को अब तक गोल्ड मेडल हासिल नहीं हुआ है उसमें वेटलिफ्टिंग शामिल है। भारत ने पिछले साल हुए कॉमनवेल्थ गेम्स में 13 मेडल हासिल किए थे लेकिन एशियन गेम्स में ऐसा करना आसान नहीं होगा। भारत के केवल दो वेटलिफ्टर्स इन खेलों में हिस्सा लेंगे जिनपर करोड़ों फैंस की उम्मीदों का भार होगा।

वेटलिफ्टिंग में एशियाई देशों का दबदबा

एशियन गेम्स में वेटलिफ्टिंग की चुनौती भारतीय खिलाड़ियों के लिए काफी कठिन होने वाली है। इसका अंदाजा इस बात से लगाया जा सकता है कि ओंलपिक में सबसे ज्यादा मेडल लाने वाले टॉप चार देश एशिया के ही हैं। वहीं इस खेल के 47 में 40 वर्ल्ड रिकॉर्ड भी एशियाई वेटलिफ्टर्स के नाम हैं। नॉर्थ कोरिया एक बार फिर एशियन गेम्स में वापसी करने वाला है जिससे चुनौती और ज्यादा मुश्किल होने वाली है।

2018 में वेटलिफ्टर्स ने किया था निराश

भारत ने अब तक इस टूर्नामेंट में 15 मेडल हासिल किए हैं जिसमें पांच सिल्वर और नौ ब्रॉन्ज मेडल शामिल है । वह एशियन गेम्स में वेटलिफ्टिंग में 19वां सबसे सफल देश है। भारत ने पिछली बार चार खिलाड़ियों का दल एशियन गेम्स में भेजा था। सतीश शिवालिंगम, अजय सिंह, विकास ठाकुर के अलावा राखी हालदार ने जकार्ता में देश का प्रतिनिधित्व किया। कोई भी खिलाड़ी पोडियम पर नहीं पहुंच पाया था। राखी हालदार अपने लिफ्ट नहीं कर पाई थी। भारत के प्रदर्शन से फैंस काफी निराश हुए थे।

दो ही खिलाड़ी करेंगे देश का प्रतिनिधित्व

भारतीय वेटलिफ्टिंग फेडरेशन ने हांगझू एशियन गेम्स के लिए पहले चार खिलाड़ियों का दल चुना था लेकिन पिछले महीने पुरुष वेटलिफ्टर्स को सेलेक्शन की शर्तें पूरी न करने के कारण दल से बाहर कर दिया गया था। इस बार केवल दो महिलाएं इस खेल में देश का प्रतिनिधित्व करेंगी। मीराबाई चानू 49 किलोग्राम और बिंदियारानी देवी 55 किलोग्राम में मेडल की दावेदारी पेश करेंगी।

मीराबाई पर रहेंगी नजरें

मीराबाई चानू ओलंपिक मेडलिस्ट हैं। टोक्यो में उन्होंने सिल्वर मेडल अपने नाम किया था वहीं पिछले साल कॉमनवेल्थ गेम्स में वह गोल्ड मेडलिस्ट रहीं। पिछले साल हुई वर्ल्ड चैंपियनशिप में उन्होंने सिल्वर मेडल अपने नाम किया था। मीराबाई पहली बार एशियन गेम्स में हिस्सा लेने वाली हैं जहां उनकी नजर गोल्ड पर होगी। वहीं बिदियारानी की बात करें तो पिछले साल हुए कॉमनवेल्थ गेम्स में उन्होंने सिल्वर मेडल जीता था। इसी टूर्नामेंट में उन्होंने क्लीन एंड जर्क में उन्होंने कॉमनवेल्थ रिकॉर्ड भी कायम किया था।