लाइटहाउस जर्नलिज्म को मलबे में फंसी एक लड़की का वीडियो मिला, जिसे सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर खूब शेयर किया जा रहा है। दावा किया गया कि यह वीडियो गाजा का है और हाल ही का है। लेकिन जांच के दौरान हमने पाया कि वीडियो सीरिया का है और वीडियो में दिख रही लड़की सुरक्षित है।
वीडियो में लड़की खेलती हुई दिख रही है न कि मलबे में फंसी हुई। वीडियो उसके पिता ने बनाया था।
क्या है दावा?
X यूजर नदीम अहमद ने वायरल दावे के साथ अपने प्रोफाइल पर वीडियो शेयर किया।
अन्य यूजर भी इसी दावे के साथ वीडियो शेयर कर रहे हैं।
जांच पड़ताल:
हमने InVid टूल में वीडियो अपलोड करके जांच शुरू की। फिर हमने टूल से प्राप्त स्क्रीनशॉट पर रिवर्स इमेज सर्च चलाया।
कई कीफ़्रेम पर रिवर्स इमेज सर्च चलाने के बाद हमें अरबी भाषा में एक लेख मिला जिसमें लड़की का स्क्रीनशॉट था।
दो दिन पहले अपलोड किए गए लेख में कहा गया है कि वीडियो में दिख रही लड़की सीरिया की है, गाजा की नहीं। उसका वीडियो खेलते समय बनाया गया था।
रिपोर्ट में कहा गया है: मूल वीडियो को पिता के अकाउंट ‘अल-गैथ’ के ज़रिए टिक टॉक पर पोस्ट किए जाने के बाद 1,72,000 लाइक और 28,000 शेयर मिले। इस अकाउंट को 15,000 लोग फ़ॉलो करते हैं। पिता ने सीरिया में अपने घर में खेलती और मस्ती करती छोटी बच्ची की अन्य तस्वीरें भी पोस्ट कीं।
हमें यह रिपोर्ट अरबी में एक अन्य पोर्टल पर भी मिली।
हमें शोरौक न्यूज़ के आधिकारिक हैंडल पर एक फ़ेसबुक पोस्ट भी मिली।
पिता ने सोशल मीडिया यूजर्स से उसका वीडियो शेयर न करने का भी आग्रह किया।
निष्कर्ष: छोटी बच्ची का वीडियो, जिसे गाज़ा का बताया जा रहा है, असल में सीरिया का है और बच्ची मलबे में नहीं फंसी है। यह वीडियो उसके पिता ने तब बनाया था जब वह खेल रही थी। बच्ची घर पर सुरक्षित है। वायरल दावे भ्रामक हैं।