Russia Ukraine War News: रूस की तरफ से जारी यूक्रेन पर हमले में यूक्रेन को काफी नुकसान पहुंचा है। शुक्रवार को यूक्रेन के कम से कम तीन शहरों से धमाकों की खबर है। यूक्रेन में अथॉरिटी का दावा है कि रूस (Russia) ने यूक्रेन (Ukrain) के ऊर्जा प्रतिष्ठानों और बुनियादी ढांचों को गहरा नुकसान पहुंचाया है। अथॉरिटी के अधिकारियों ने सोशल मीडिया के जरिए जानकारी दी कि राजधानी कीव, दक्षिणी क्रीवीय रिह (Operation Kharkiv) और उत्तर-पूर्वी खार्कीव शहर में धमाके की खबरें हैं।
Russia Launches Major Missile-अलार्म बजाकर किया गया अलर्ट:
उनकी तरफ से कहा कि देशभर में जिस तरह से रूस की तरफ से मिसाइल हमले हो रहे हैं, उसे देखते हुए लोगों को अलर्ट करने के लिए अलार्म बजाए गए हैं। बता दें कि रूस ने इसी साल अक्टूबर के मध्य में यूक्रेन के ऊर्जा प्रतिष्ठानों और बुनियादी ढांचों पर कई बड़े मिसाइल हमले किए। जिसका नतीजा यूक्रेन के लोगों को बिजली आपूर्ति ठप का सामना करना पड़ रहा है।
खार्कीव के मेयर इहोर तेरेकोव ने सोशल मीडिया ऐप ‘टेलीग्राम’ पर जानकारी दी कि हमलों की वजह से शहर की बिजली गुल हो गई है। खार्कीव के क्षेत्रीय गवर्नर ओलेह साइनीहुबोव ने कहा कि शहर के अहम और जरूरी बुनियादी ढांचों को रूसी मिसाइलों ने निशाना बनाया। इसके लिए तीन हमले किए गए हैं। यूक्रेन के राष्ट्रपति वोलोदिमीर जेलेंस्की के ऑफिस से जुड़े एक वरिष्ठ अधिकारी काइरिलो तिमोशेन्को ने क्रीवीय रिह में एक आवासीय इमारत पर हमले की जानकारी दी।
उन्होंने टेलीग्राम पर बताया, “हमले की वजह से मलबे के नीचे लोगों के दबे होने का अंदेशा है। हालांकि राहत-बचाव कार्य जारी है। कीव के मयेर विताली क्लित्सचेस्को ने नागरिकों से अपील की है वे बम रोधी शिविरों में शरण लें। क्लित्सचेस्को ने टेलीग्राम पर लिखा, “राजधानी पर लगातार हमले हो रहे हैं।”
Russia Ukrain War-कई स्टेशनों पर बिजली की सप्लाई बंद
उन्होंने बताया कि राजधानी में सबवे सेवाएं निलंबित कर दी गई हैं, क्योंकि हमलों से बचने के लिए भूमिगत स्टेशनों में शरण लेने के लिए लोगों की संख्या बढ़ गई है। वहीं यूक्रेन के राष्ट्रीय रेलवे ऑपरेटर ‘उक्रजालिज्नित्सिया’ ने जानकारी दी कि ऊर्जा प्रतिष्ठानों को नुकसान पहुंचा है, जिसके कारण पूर्वी और मध्य खार्कीव, किरोवोहराद, दोनेत्स्क और निप्रोपेत्रोव्स्क में कई स्टेशनों पर बिजली की सप्लाई बंद है। हालांकि बैकअप व्यवस्था के तहत इलेक्ट्रिक इंजन की जगह वाष्प इंजन सिस्टम का इस्तेमाल कर ट्रेन के संचालन को जारी रखा जा रहा है।
