जावा समुद्र में दुर्घटनाग्रस्त हुए एअर एशिया विमान के मलबे से पांच और शव और पांचवीं बड़ी वस्तु रविवार को बरामद की गई। हालांकि, बचावकर्मी ‘ब्लैक बॉक्स’ के अलावा विमान के मुख्य हिस्से तक पहुंचने के लिए खराब मौसम में मशक्कत कर रहे हैं।
खोजबीन में लगे कर्मियों ने शेष शवों और सिंगापुर जा रही उड़ान क्यूजेड 8501 के मलबे की तलाश आठवें दिन भी जारी रखी। विमान में 162 लोग सवार थे। वहीं, इंडोनेशिया की मौसम एजंसी ने कहा कि दुर्घटना के पीछे मुख्य वजह खराब मौसम था। रविवार को कम से कम चार और शवों को बरामद किए जाने से इनकी संख्या 34 पहुंच गई है। सिंगापुर नौसेना पोत आरएसएस पर्सीसटेंस ने एक और शव बरामद किया जबकि अमेरिकी नौसेना के जहाज यूएसएस सैम्पसन ने तीन और शव इंडोनेशियाई शहर पांगकलन बन पहुंचाए।
इस भीषण दुर्घटना के कारण का पता लगाने के लिए विमान के ब्लैक बॉक्स को ढूंढ़ने को लेकर रविवार को एक ध्वनि संकेतक यंत्र तैनात किया गया। इंडोनेशिया की राष्ट्रीय खोज व बचाव एजंसी बसरनास ने कहा कि रविवार सुबह पांचवीं बड़ी वस्तु बरामद की गई। इसका आकार 9.8 गुणा 1.1 गुणा 0.4 बताया गया है।
इससे पहले शनिवार को खोजी दलों को जावा सागर में धातु की चार बड़ी वस्तुएं मिली थीं। इस बीच ऐसी खबरें थीं कि यह उड़ान अवैध कार्यक्रम (समय) पर संचालित की गई थी क्योंकि इसकी मंजूरी नहीं थी। यह आशा थी कि मौसम रविवार को सही हो जाएगा। लेकिन हालात ने एक बार फिर विमान के मुख्य मलबे को ढूंढ़ने की कोशिशों को प्रभावित किया।
इंडोनेशिया और रूस के दर्जनों गोताखोरों को तलाश क्षेत्र में तैनात किया गया है। बाम्बंग ने बताया-उन्होंने समुद्र की तलहटी का और अधिक सर्वेक्षण किया लेकिन तलहटी पर दृश्यता शून्य थी। रिमोट संचालित कैमरे भी इस्तेमाल किए जा रहे हैं ताकि वस्तुओं की तस्वीरें ली जा सकें। लेकिन सागर की ऊंची लहरों के पांच मीटर की ऊंचाई तक उठने और तेज धाराओं के कारण इसमें मुश्किल आ रही है।
नेशनल सर्च एंड रेसक्यू उप प्रमुख ततांत जैनुद्दीन ने कहा-हम इस अभियान को चलाने के लिए वक्त और मौसम से जूझ रहे हैं। अधिकारियों का मानना है कि शेष 128 यात्रियों में कई और चालक दल के सदस्य अपनी सीटों से अभी तक बंधे हुए हैं और दुर्घटनाग्रस्त एअरबस ए 320-200 के मुख्य हिस्सा का पता लगाने पर कोशिशों को केंद्रित किया जा रहा है। बसरनास के अधिकारियों ने बताया कि मृतकों को बरामद करने के लिए व विमान के मलबे को ढूंढ़ने के लिए 20 विमान और 27 जहाज तैनात किए गए।
इंडोनेशिया की मौसम एजंसी बीएमकेजी की वेबसाइट के मुताबिक, दुर्घटना की मुख्य वजह खराब मौसम था।
रिपोर्ट में कहा गया है कि मौसम संबंधी मुख्य परिस्थिति हिमकणों का जमना हो सकता है जिसके कारण कूलिंग प्रक्रिया होने से इंजन को नुकसान पहुंचा हो। हालांकि यह सिर्फ एक संभावना है जो विद्यमान मौसम डेटा के विश्लेषण के आधार पर बनी है।
मीडिया में आई खबरों में बताया गया है कि जांचकर्ता बरामद शवों के शव परीक्षण पर ध्यान केंद्रित कर रहे हैं ताकि यह पता चल सके कि विमान को आखिर हुआ क्या था। हालांकि, कुछ मृतकों के परिवारों ने इसकी इजाजत नहीं दी है। इंडोनेशियाई अधिकारियों ने बताया कि एअर एशिया ने रविवार को सुराबाया से सिंगापुर मार्ग के लिए अपने लाइसेंस की शर्तों का उल्लंघन किया था।
उसी दिन विमान जावा सागर में गिरा था। अधिकारी विमान के अन्य कार्यक्रमों की जांच करेंगे। एयर एशिया विमान को रविवार के दिन सुराबाया-सिंगापुर मार्ग से गुजरने की इजाजत नहीं होती है। इस बीच, इंडोनेशिया के एक चर्च में हजार से ज्यादा लोगों ने एकत्र होकर मृतकों के परिजनों के लिए प्रार्थना की।
