ब्रिटेन में रहने वाले भारतीय मूल के एक व्यक्ति को उसकी चमड़ी के रंग के आधार पर अमेरिका से वापस भेजने का मामला सामने आया है। ब्रिटेन की एक सिक्योरिटी कंपनी में काम करने वाले अमरीत सुराणा ने आरोप लगाया कि वह कंपनी के काम से अमेरिका गया था। उसे डेट्राॅयट में इमिग्रेशन अधिकारियों ने 13 घंटे तक रोके रखा और चमड़ी के रंग के आधार पर वापस भेज दिया।
24 वर्षीय सुराणा ने कहा कि उसके पास इलेक्ट्रॉनिक ट्रेवल ऑथोराइजेशन सिस्टम(ईएसटीए) था। इसके बूते 38 देशों के लोगों को बिना वीजा के अमेरिका जाने की अनुमति होती है। मुझे लगता है कि मेरे रंग के चलते मेरी जांच हुई। वहीं अमेरिकी कस्टम और बॉर्डर प्रोटेक्शन ने सुराणा को वापस भेजने का कारण नहीं बताया लेकिन कहा कि ईएसटीए बिना अमेरिकी सीमा जांच के गुजरने की अनुमति नहीं देता है।
सुराणा ने बताया कि, जब मैं 17 जनवरी को डेट्राॅयट एयरपोर्ट पर उतरे तो उन्हें रोक दिया गया। इसके बाद इमिग्रेशन अधिकारियों के पास भेज दिया गया। मेैंने बताया कि मैं ब्रिटेन की ऑक्टेवियन कंपनी इंटरनेशनल बिजनेस मैनेजर के रूप में काम करता हूं। 20 मिनट में ही उन्होंने मुझे अमेरिका में अवैध रूप से काम करने वाला इमिग्रेंट मान लिया। मुझे धोखाधड़ी की धमकी दी गई। इसके बाद मुझे 13 घंटे तक रोका गया और फोटो और फिंगरप्रिंट लिए गए।
