अफगानिस्तान के राष्ट्रपति अशरफ गनी रविवार को आए चुनाव परिणामों के मुताबिक एक बार फिर इस पद पर काबिज होने के लिए तैयार हैं। चुनाव अधिकारियों ने प्रारंभिक चुनाव परिणामों के अनुसार घोषणा की है कि राष्ट्रपति चुनाव में गनी को बहुमत हासिल हो गया है।
लेकिन गनी की स्पष्ट जीत के बावजूद, अत्याधिक कड़वाहट के साथ लड़े गए 28 सितंबर के चुनाव का नतीजा अंतिम नहीं माना जा सकता जहां शीर्ष प्रतिद्वंद्वी मुख्य कार्यकारी अब्दुल्ला अब्दुल्ला ने कहा है कि वह परिणामों को चुनौती देंगे।

स्वतंत्र चुनाव आयोग के मुताबिक, 28 सितंबर को हुए चुनाव में गनी को 50.64 प्रतिशत वोट मिले हैं जबकि उनके प्रतिद्वंद्वी अब्दुल्ला को 39.52 मत मिले हैं।

अंतिम परिणाम घोषित होने से पहले उम्मीदवारों के पास अब शिकायत दर्ज कराने का मौका है। उन्हें संभवत: एक हफ्ते के भीतर अपनी शिकायत दर्ज करानी होगी।परिणाम घोषित होने के फौरन बाद, अब्दुल्ला के कार्यालय ने एक बयान में कहा कि वह इसे चुनौती देंगे।

बयान में कहा गया, ‘‘हम एक बार फिर हमारे लोगों, समर्थकों, चुनाव आयोग और हमारे अंतरराष्ट्रीय सहयोगियों को स्पष्ट करना चाहते हैं कि हमारी टीम इस फर्जी चुनाव के नतीजों को तब तक स्वीकार नहीं करेगी जब तक कि हमारी तर्कसंगत मांगों को सुना नहीं जाता।
प्रारंभिक परिणाम असल में 19 अक्टूबर को घोषित किए जाने थे लेकिन कई प्रत्याशियों, विशेष कर अब्दुल्ला द्वारा तकनीकी खामियों एवं धांधली के आरोप लगाए जाने के चलते बार-बार इनमें देरी हो रही थी।

चुनाव आयोग की प्रमुख हवा आलम नूरीस्तानी ने कहा, ‘‘हमने ईमानदारी, वफादारी, जिम्मेदारी और भरोसे के साथ अपनी जिम्मेदारी पूरी की है। उन्होंने कहा, ‘‘ हमने प्रत्येक वोट का सम्मान किया है क्योंकि हम लोकतंत्र बने रहना चाहते हैं।’’

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