करण जौहर बॉलीवुड के संभ्रात वर्ग का प्रतिनिधित्व करते हैं। अर्बन सैटिंग्स में रोमैंटिक ड्रामा जॉनर को एक नई ऊंचाई तक लेने वाले करण के हिस्से कई विवाद भी आए हैं। सोशल मीडिया पर नेपोटिज़्म शब्द का सबसे ज़्यादा दंश उन्होंने झेला है। उन पर स्टार किड्स को लॉन्च करने के ‘आरोप’ लगते रहे हैं, कंगना उन्हें उन्हीं के शो काफी विद करण पर बॉलीवुड माफिया बुलाती हैं, वो अलग बात है कि खुद को प्रोग्रेसिव होने का दंभ भरने वाली कंगना पीएम मोदी और उनकी नीतियों को पसंद करती हैं।

करण जौहर 90 के दौर से रोमैंटिक जॉनर को एक नया रूप दे रहे हैं।

करण आज बॉलीवुड के सबसे प्रभावशाली हस्तियों में से हैं। वे अक्सर बॉलीवुड की ए लिस्ट पार्टीज़ में नज़र आते हैं। करण के पिता यश जौहर उन्हें हीरो बनाना चाहते थे। रिपोर्ट्स के अनुसार, यश उन्हें धर्मा प्रोडक्शंस के बैनर तले लॉन्च करना चाहते थे। करण ने खुद अपने शो कॉफी विद करण में ये बात कही थी। उन्होंने कहा था कि मेरे पिता ने मुझसे एक बार कहा था कि पांच किलो कम कर दो और हीरो बन जाओ। करण ने अपना करियर फ़िल्म दिलवाले दुल्हनियां से शुरू किया था। इस फ़िल्म में वे शाहरूख खान के दोस्त की भूमिका में थे। वो इस फ़िल्म में अस्सिटेंट निर्देशक की भूमिका में भी थे। करण ने 1998 में सुपरहिट फ़िल्म कुछ कुछ होता है’ में निर्देशक के तौर पर शुरूआत की थी।

करण ने अपने करियर बढ़ने के साथ ही संवेदनशीलता और मैच्योरिटी का उदाहरण पेश किया है। अनुराग कश्यप के साथ विवाद के बाद आज ये दोनों फिल्म महारथी अच्छे दोस्त हैं। अनुराग ने करण को एक विलेन के तौर पर अपनी फ़िल्म में लॉन्च किया था। लेकिन वो फिल्म पिट गई थी। अपनी फ़िल्मों से आलिया भट्ट, सिद्धार्थ मल्होत्रा और वरूण धवन जैसे एक्टर्स को लॉन्च करने वाले करण आज खुद अपनी शुरूआती फ़िल्मों की खूब आलोचना करते हैं। उन फ़िल्मों में इस्तेमाल हुए लॉजिक्स आज करण को हजम नहीं होते, शायद यही कारण है कि वे इन गलतियों को न दोहराने की बात करते हैं। 90 के दशक की पीढ़ी को रोमांस और दोस्ती का ककहरा सिखाने वाले करण की फ़िल्में आज भी उस दौर के लोगों को एक फील गुड से भर देती है। करण महत्वाकांक्षी हैं और वे कई प्रोजेक्टस पर काम कर रहे हैं। करण को जन्मदिन की शुभकामनाएं।

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