Anamni Gupta, New Delhi:
विस्‍वभारती यूनिवर्सिटी के वाइस चांसलर बिद्युत चक्रबर्थी ने कहा है कि यूनिवर्सिटी के कर्मियों का फरवरी माह की वेतन फंड्स की कमी के चलते इस बार देरी से मिल सकता है। इस मामले पर मानव संसाधन विकास मंत्रालय ने चक्रबर्थी से स्‍पष्‍टीकरण मांगा है।

इस मामले पर Indian Express से बात करते हुए सेंट्रल यूनिवर्सिटी के ज्‍वाइंट सेकेट्री गिरीश होशर ने कहा, फंड्स में ऐसी कोई कमी नहीं है जिसके चलते कर्मचारियों को वेतन मिलने में देरी हो। इसलिए हम चक्रबर्थी से यह स्‍पष्‍टीकरण मांग रहे हैं कि उन्‍होनें ऐसा नोटिफिकेशन क्‍यों जारी किया।

सोमवार को यूनिवर्सिटी द्वारा जारी नोटिफिकेशन में यह कहा गया था कि फंड्स में कमी के चलते सभी कर्मचारियों के फरवरी 2020 माह के वेतन में कुछ देरी हो सकती है। इसी मामले पर यूनिवर्सिटी के वाइस चांसलर से स्‍पष्‍टीकरण की मांग की गई है। यूनिवर्सिटी प्रशासन के मुताबिक पहले वेतन के आधार पर 166 करोड़ रुपए की वार्षिक राशि की आवश्‍यकता होती थी मगर सातवें वेतन आयोग के लागू होने के बाद से यह खर्च बढ़ गया है।

7वें वेतन आयोग के बाद बढ़ गया बजट, इस महीने नहीं आएगी इन केंद्रीय कर्मचारियों की सैलरी!

सीनियर मिनिस्‍ट्री ऑफिसर के अनुसार, चक्रबर्थी से सोमवार शाम ही हॉयर एजुकेशन सेक्रेट्री की मीटिंग हुई है जिसमें उन्‍हें यह जानकारी दी गई है कि वित्‍त मंत्रालय ने HRD मिनिस्‍ट्री को पहले ही अतिरिक्‍त फंड्स भेज दिए हैं जो फरवरी माह के अंत तक विस्‍वभारती यूनिवर्सिटी को भी मिल जाएंगे। ऐसे में वाइस चांसलर ने यह भ्रामक जानकारी क्‍यों जारी की, इसका उनसे जवाब मांगा जा रहा है।

पिछले महीने, यूनिवर्सिटी ने अपने अधिकारियों पर ‘अगले आदेश तक’, मीडिया से बात करने पर प्रतिबंध लगा दिया था। मीडिया स्‍पोक्‍सपर्सन के अतिरिक्‍त यूनिवर्सिटी के किसी भी अन्‍य अधिकारी को मीडिया के साथ बात करने या कोई बयान देने पर पूरी तरह पाबंदी है। आदेश का पालन न होने पर कड़ी कार्रवाई की बात भी आदेश में कही गई है।