Small Finance Bank FD : प्रमुख बैंकों, पोस्ट ऑफिस के अलावा स्मॉल फाइनेंस बैंक भी फिक्स्ड डिपॉजिट (Fixed Deposit) की सुविधा देते हैं। स्मॉल फाइनेंस बैंक (Small Finance Bank) अपनी एफडी स्कीम पर प्रमुख बैंकों की तुलना में ज्यादा ब्याज ऑफर करते हैं, ताकि ग्राहक उनके यहां आकर्षित होकर डिपॉजिट करें। आमतौर पर लीडिंग स्मॉल फाइनेंस बैंक में शामिल एसएफबी अपनी एफडी स्कीम पर 8 से फीसदी से 9 फीसदी ब्याज दे रहे हैं, जो प्रमुख बैंकों की तुलना में 1 से 1.50 फीसदी ज्यादा है। सवाल उठता है कि आखिर प्रमुख बैंकों की तुलना में लिक्विडिटी कम होने के बाद भी स्मॉल फाइनेंस बैंक क्यों ग्राहकों को ज्यादा ब्याज ऑफर करते हैं और क्या ग्राहकों के लिए इनमें अपनी जमा पूंजी निवेश करना सुरक्षित है।
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स्मॉल फाइनेंस बैंक : FD पर अधिकतम ब्याज (सामान्य नागरिक)
यूनिटी स्मॉल फाइनेंस बैंक : 9% सालाना
सूर्योदय स्मॉल फाइनेंस बैंक : 8.65% सालाना
शिवालिक स्मॉल फाइनेंस बैंक : 8.55% सालाना
इक्विटास स्मॉल फाइनेंस बैंक : 8.50% सालाना
जना स्मॉल फाइनेंस बैंक : 8.50% सालाना
उत्कर्ष स्मॉल फाइनेंस बैंक : 8.50% सालाना
उज्जीवन स्मॉल फाइनेंस बैंक : 8.50% सालाना
ESAF स्मॉल फाइनेंस बैंक : 8.25% सालाना
एयू स्मॉल फाइनेंस बैंक : 8% सालाना
फिनकेयर स्मॉल फाइनेंस बैंक : 8% सालाना
आरबीएल बैंक : 8% सालाना
(नोट: बैंक सीनियर सिटीजंस को ज्यादातर बैंक 0.50 फीसदी अतिरिक्त ब्याज देते हैं।)
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प्रमुख बैंक : FD पर ब्याज (सामान्य नागरिक)
एसबीआई: 6.50%
बैंक ऑफ बड़ौदा: 6.50%
केनरा बैंक: 6.70%
पंजाब नेशनल बैंक: 6.50%
HDFC बैंक: 7.00%
ICICI बैंक: 7.00%
इंडसइंड बैंक: 7.25%
Axis बैंक: 7.00%
कोटक महिंद्रा बैंक: 6.20%
YES बैंक: 7.25%
फेडरल बैंक: 6.60%
IDFC फर्स्ट बैंक: 7.00%
(नोट: सीनियर सिटीजंस को 50 बेसिस प्वॉइंट ब्याज ज्यादा मिलेगा।)
(source: bank websites)
क्यों मिलता है ज्यादा ब्याज
असल में स्मॉल फाइनेंस बैंकों को छोटे छोटे टिकट साइज का लोन देने के लिए जाना जाता है। आमतौर पर बहुत से ग्राहक जिन्हें प्रमुख बैंकों से लोन नहीं मिल पाता, वे स्मॉल फाइनेंस बैंकों की ओर रुख करते हैं. स्मॉल फाइनेंस बैंक लोन के लिए कुछ हल्के नार्म रखते हैं और इसी के चलते उन लोगों को भी लोन दे देते हैं, ज्निहें प्रमुख बैंकों ने मना कर दिया होता है। लेकिन इसके बदले वे ज्यादा इंटरेस्ट लेते हैं।
लोन बिजनेस में ज्यादा इंटरेस्ट लेने के चलते वे बैंक एफडी पर ज्यादा ब्याज देकर ग्राहकों को आकर्षित करते हैं। इसका फायदा यह है कि जितना एफडी होगा, बैंक के पास उतना डिपॉजिट बढ़ेगा और वे आसानी से लोन बिजनेस को भी ऑपरेट कर सकते हैं।
कितना होता है रिस्क
स्मॉल फाइनेंस बैंक में उन ग्राहकों को लोन मिल जाता है, जिनकी क्रेडिट हिस्ट्री का बहुत ज्यादा अंदाजा नहीं होता है। वे लोन चुका पाएंगे या नहीं, इस बारे में उनकी क्षमता का बहुत ज्यादा पता नहीं होता। ऐसे में कुछ मामलों में लोन डिफाल्ट का रिस्क होता है। हालांकि यह रिस्क इसलिए भी बहुत कम होता है क्योंकि लोन का अमाउंट कम हो है। वहीं स्मॉल फाइनेंस बैंकों को भी बैंक रेगुलेटर रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया द्वारा ही लाइसेंस मिलता है और रेगुलेट किया जाता है।
FD करने के पहले क्या देखें
अगर आप ज्यादा फायदे के लिए स्मॉल फाइनेंस बैंक में एफडी करना चाहते हैं तो रिस्क की पहचान के लिए कुछ बातों पर ध्यान दें। सबसे पहले बैंकों का स्ट्रक्चर और कस्टमर बेस देखें। उनकी फाइनेंशियल स्थिति कैसी है, लिक्विडिटी की स्थिति कैसी है। कहीं कोई डिफाल्ट हिस्ट्री तो नहीं रही है। बैंक अपने ग्राहकों को समय से रीपेमेंट करने के लिए सक्षम है या नहीं। बैंक के नॉन-परफॉर्मिंग एसेट्स (NPA) की क्या स्थिति है। एफडी स्कीम की रेटिंग क्रेडिट रेटिंग एजेंसियों द्वारा कैसी दी गई है। एसेट क्वालिटी और मैनेजमेंट की क्षमता भी देखें। बेहतर है कि पूरा पैसा एक जगह लगाने के ज्यादा अकाउंट खोलें।
(सोर्स : फाइनेंशियल वेबसाइट्स, बैंक वेबसाइट)