How to build big corpus through Mutual Fund SIP: अगर आप अपने किसी वित्तीय लक्ष्य के लिए एक बड़ी रकम जमा करना चाहते हैं, तो इसके लिए आपको फाइनेंशियल प्लानिंग से काम लेना होगा। जिस तरह बूंद-बूंद से घड़ा भरता है, वैसे ही छोटी-छोटी रकम को मिलाकर बड़ा कॉर्पस जमा किया जा सकता है। लेकिन अगर आप यह छोटी-छोटी रकम किसी सेविंग्स अकाउंट या पोस्ट ऑफिस के रिकरिंग डिपॉजिट (RD) में डालकर फंड जुटाएंगे, तो इसमें आपको काफी वक्त लग जाएगा। ऐसा इसलिए क्योंकि सेविंग्स अकाउंट या आरडी पर मिलने वाला रिटर्न कम होता है। इसकी जगह अगर आप म्यूचुअल फंड में सिस्टमैटिक इनवेस्टमेंट प्लान के जरिये निवेश करेंगे, तो आपका काम काफी आसान हो जाएगा। लेकिन इसके लिए आपको यहां बताई गई 5 बातों को समझना होगा।
1. वित्तीय अनुशासन का पालन करें
इक्विटी म्यूचुअल फंड में 3,000 रुपये की साधारण सी लगने वाली SIP भी 12% सालाना रिटर्न के आधार पर 30 साल में करीब 1।06 करोड़ रुपये का भारी-भरकम कॉर्पस बना सकती है। कंपाउंडिंग रिटर्न की इसी ताकत के कारण, निवेश की जाने वाली छोटी-छोटी रकम भी समय के साथ-साथ बड़ी रकम में बदल सकती है। लेकिन SIP के जरिए निवेश करते समय डिसिप्लिन यानी अनुशासन का पालन करना जरूरी है।
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2. SIP की सही रकम तय करें
एसआईपी के ज़रिए बड़ी रकम बनाने के लिए आपको नियमित रूप से निवेश करना होगा। इसके लिए आपको वह रियलिस्टिक रकम पता होनी चाहिए, जिसे आप हर महीने आराम से निवेश कर सकते हैं। यह रकम बहुत ज़्यादा या बहुत कम नहीं होनी चाहिए। आसान नियम यह है कि आपकी मंथली इनकम का 20% हिस्सा लंबी अवधि के निवेश में जाना चाहिए। जब आप युवा होते हैं, तो आप अपने निवेश के लिए पैसे का एक बड़ा हिस्सा अलग रख सकते हैं। लेकिन उम्र बढ़ने के साथ-साथ आपकी ज़िम्मेदारियों भी बढ़ती हैं और ऐसे में आपको अपनी मंथली SIP कम करनी पड़ सकती है।
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3. शॉर्ट-टर्म के लिए निवेश न करें
अगर आप SIP से बेहतरीन रिटर्न चाहते हैं, तो शॉर्ट टर्म के के लिए निवेश न करें। हम सभी जल्दी से जल्दी लाभ कमाना चाहते हैं, लेकिन अगर आप तीन साल के लिए निवेश करने के बाद ही एकमुश्त मोटी रकम पाने की उम्मीद करते रहे हैं, तो यह व्यावहारिक नहीं हो सकता है। इसके अलावा, शेयर बाजार में निवेश के साथ कुछ जोखिम और अस्थिरता भी रहती है। इसलिए अगर आप लंबी अवधि, यानी कम से कम 5 या 7 साल के लिए निवेश करते हैं, तो आप बेहतर रिटर्न हासिल कर सकते हैं, क्योंकि लंबी अवधि में अस्थिरता और गिरावट का दौर निकल जाने की उम्मीद अधिक होती है।
4. जब बाजार नीचे हो तो घबराएं नहीं
जब बाजार में गिरावट हो और आपका पोर्टफोलियो लाल निशान पर हो तो डरना और घबराना स्वाभाविक है। लेकिन अचानक अपनी SIP बंद न करें। आप कंपाउंडिंग का लाभ तभी उठा सकते हैं जब आप लंबे समय तक निवेशित रहें। इसलिए अपने म्यूचुअल फंड के चुनाव पर भरोसा रखें और धैर्य रखें।
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5. SIP की किस्तें ‘मिस’ न करें
SIP निवेशकों की सबसे आम गलतियों में से एक है अनुशासन बनाए न रखना। एक बार जब आप अपना SIP शुरू कर देते हैं तो आपको नियमित रूप से निवेश करना चाहिए। अनुशासन आपके SIP की सफलता के लिए महत्वपूर्ण है। अगर आप अपना SIP शुरू करते हैं और इसे बीच में ही छोड़ देते हैं या कभी-कभी एक या दो किस्त छोड़ देते हैं, तो आप बड़ी रकम जमा नहीं कर पाएंगे। भले ही आप आर्थिक दिक्कतों का सामना कर रहे हों, लेकिन कोशिश करें कि किसी भी हालत में आपकी SIP में रुकावट न आने पाए।