कर्नाटक उच्च न्यायालय ने नोटबंदी के खिलाफ याचिका को खारिज करते हुए कर्नाटक उच्च न्यायालय ने इसके साथ कुछ अंकुशों को उचित ठहराया है। अदालन ने कहा कि यह केंद्र सरकार और रिजर्व बैंक का मामला है। अपने आदेश में न्यायमूर्ति अशोक बी हिनचिगरी ने अपने आदेश में कहा कि जाली नोट, कालेधन और आतंकवाद जैसी बुराइयों से निपटने के लिए उठाए गए कदम के साथ कुछ अंकुश लागू होंगे। अदालत ने कहा कि इस तरह की स्थिति में भारत सरकार और रिजर्व बैंक को कोई आदेश नहीं दिया जा सकता। अदालत ने यह आदेश एक जनहित याचिका की सुनवाई के दौरान दिया, जिसमें नोटबंदी के बाद लगाई गई निकासी की सीमा को हटाने की अपील की गई थी। अदालत ने कहा कि समाज के व्यापक हित में जब कोई वृहद मिशन आगे बढ़ाया जाता है तो बदलाव की अवधि के दौरान कुछ नियामकीय उपाय लगाने पड़ते हैं, इससे समाज के कुछ वर्गों के लोग प्रभावित हो सकते हैं।
कर्नाटक हाई कोर्ट में नोटबंदी के ख़िलाफ़ याचिका खारिज, कहा- यह केंद्र और रिजर्व बैंक का मामला है
अदालत ने यह आदेश एक जनहित याचिका की सुनवाई के दौरान दिया, जिसमें नोटबंदी के बाद लगाई गई निकासी की सीमा को हटाने की अपील की गई थी।
Written by भाषा
नई दिल्ली

Jansatta.com पर पढ़े ताज़ा व्यापार समाचार (Business News), लेटेस्ट हिंदी समाचार (Hindi News), बॉलीवुड, खेल, क्रिकेट, राजनीति, धर्म और शिक्षा से जुड़ी हर ख़बर। समय पर अपडेट और हिंदी ब्रेकिंग न्यूज़ के लिए जनसत्ता की हिंदी समाचार ऐप डाउनलोड करके अपने समाचार अनुभव को बेहतर बनाएं ।
First published on: 08-12-2016 at 15:45 IST