नवीन एवं नवीकरणीय ऊर्जा सचिव उपेन्द्र त्रिपाठी ने आज कहा कि उनका मंत्रालय देश में नवीकरणीय ऊर्जा में क्रांतिकारी बदलाव लाने की योजना के तहत सौर पार्कों की क्षमता को ‘‘स्वीकृत 20,000 मेगावाट की जगह 40,000 मेगावाट’’ करने के लिये मंत्रिमंडल से मंजूरी लेगा। उन्होंने इस क्षेत्र में सुधार, कार्यकुशलता और कायाकल्प के प्रधानमंत्री के आह्वान का जिक्र करते हुए कहा कि इसी संकल्प के साथ मंत्रालय चालू वर्ष में 20,000 मेगावाट क्षमता की सौर परियोजनाओं के लिये निविदा जारी कर ‘अपने कार्य प्रदर्शन का सबूत पेश कर चुका है।’ उन्होंने कहा कि पिछले वर्ष 21,000 मेगावाट क्षमता की सौर उर्च्च्जा परियोजनाओं के लिए निविदा जारी की गयी थी।
यूबीएम इंडिया द्वारा आयोजित रिन्यूबल एनर्जी इंडिया एक्सपो, 2016 में अपने संबोधन में उन्होंने कहा, ‘‘हम देश में सौर पार्कों की स्वीकृत क्षमता को 20,000 मेगावाट से बढ़ाकर 40,000 मेगावाट करने की योजना पर विचार कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि ‘‘ सौर ऊर्जा पार्क इस क्षेत्र में एक लोकप्रिय अवधारणा है क्योंकि इसमें एक ही स्थान पर बड़े पैमाने पर उत्पादित बिजली के संप्रेषण की कोई दिक्कत नहीं होती।
बाद में उन्होंने संवाददाताओं से कहा, ‘‘सौर ऊर्जा पार्क की नयी क्षमता के बारे में वित्त मंत्रालय से मंजूरी मिल गयी है और हम जल्दी ही मंत्रिमंडल के पास जाएंगे।’
यूबीएम इंडिया द्वारा आयोजित रिन्यूबल एनर्जी इंडिया एक्सपो, 2016 में अपने संबोधन में उन्होंने यह भी कहा कि सरकार भूंडलीय तापमान में वृद्धि को लेकर अपनी प्रतिबद्धता और सभी को 2019 तक सस्ती बिजली पहुंचाने के लक्ष्य के तहत सौर उर्च्च्जा समेत अक्षय उर्च्च्जा के विभिन्न स्रोतों के विकास पर ध्यान दे रही है।