Bloodbath on D-Street, Stock Market Crash: भारतीय शेयर बाजार में आज काफी दबाव है और सुबह-सुबह मार्केट बड़ी गिरावट के साथ खुला। बाजार खुलते ही Nifty 50 में 1.1 प्रतिशत (258 पॉइन्ट) की गिरावट हुई और यह 23,172 .70 पर आ गया। वहीं BSE Sensex 840 पॉइन्ट गिर गया और 76,535.24 पर रह गया। जबकि Nifty Mifty Midcap 100 1.8 प्रतिशत की गिरावट के साथ 56,603 पर ट्रेड कर रहा था।
लेकिन सवाल है कि आखिर ऐसी क्या वजह है कि भारतीय शेयर बाजार में लगातार गिरावट होती जा रही है। आखिर क्यों Sensex जो 86000 के स्तर तक पहुंच गया था, गिरकर 76500 के आसपास ट्रेड कर रहा है। आज ऐसा क्या हुआ कि स्टॉक मार्केट खुलते ही धड़ाम हो गया? जानिए वो 3 कारण जिनके चलते निवेशकों के 4.53 लाख करोड़ आज बाजार खुलते ही डूब गए।
शेयर बाजार में सुबह-सुबह कोहराम, Sensex ने लगाया 843 पॉइन्ट का गोता, 4.53 लाख करोड़ डूबे
आखिर क्यों गिर रहा है शेयर बाजार, जानें 3 बड़े कारण
ग्लोबल मार्केट्स में बड़ी गिरावट
शुक्रवार को अमेरिकी बाजारों में हुई बड़ी गिरावट का असर सोमवार को एशियाई बाजारों में देखने को मिला। नौकरियों से जुड़ी रिपोर्ट के बाद यूएस फेड द्वारा ब्याज दरों में जल्द कटौती की उम्मीदों को झटका लगने के बाद अमेरिकी बाजारों में गिरावट आई। दक्षिण कोरिया का कॉस्पी 1.21 प्रतिशत गिरकर 2,485 पर रह गया। The Asia Dow 1.15 प्रतिशत की गिरावट के बाद 3,676.11 पर ट्रेड कर रहा था।
वहीं हॉन्ग कॉन्ग का हैंग सैंग 1.14 प्रतिशत गिरकर 18,847 पर ट्रेड कर रहा था। जबकि शुक्रवार को S&P 500, 1.54 प्रतिशत गिरकर 5,827 पर बंद हुआ था। नैस्डैक कंपोजिट 1.63% गिरकर 19,161.63 पर सत्र बंद हुआ। 30-स्टॉक डॉव जोन्स इंडस्ट्रियल एवरेज 696.75 अंक या 1.63% गिरकर 41,938.45 पर बंद हुआ।
महंगा होता कच्चा तेल
सोमवार सुबह WTI क्रूड की कीमतें 1.83% बढ़कर 77.97 डॉलर पर और ब्रेंट क्रूड की कीमतें 1.74% बढ़कर 81.15 डॉलर पर कारोबार कर रही थीं। मेहता इक्विटीज़ के रिसर्च के वरिष्ठ उपाध्यक्ष प्रशांत तापसे ने कहा, “पूरे कारोबारी दिन धारणा खराब हो सकती है क्योंकि रूसी तेल निर्यात पर अमेरिकी प्रतिबंधों के कारण कच्चे तेल की कीमतें 3 महीने के उच्चतम स्तर पर पहुंच गई हैं।” केयरएज में एसोसिएट इकोनॉमिस्ट मिहिका शर्मा ने कहा कि इसके अलावा, उत्तरी गोलार्ध में ठंडे मौसम के कारण ऊर्जा की अधिक मांग और चीन से नीतिगत समर्थन की उम्मीद के कारण तेल की कीमतों में बढ़ोतरी हुई है।
विदेशी निवेशकों द्वारा लगातार की जा रही बिकवाली
निवेशकों की भावनाओं को अस्थिर करते हुए, एफआईआई ने भारतीय इक्विटी बाजारों में बिकवाली जारी रखी। जनवरी में अब तक उन्होंने 21,357.46 करोड़ रुपये की बिक्री की है। पिछले तीन महीनों के दौरान विदेशी संस्थागत निवेशकों (FII) 1,77,402.49 करोड़ रुपये के शुद्ध विक्रेता रहे। विशेषज्ञों का कहना है किकि विदेशी संस्थागत निवेशकों की लगातार बिकवाली के पीछे मुख्य कारण डॉलर इंडेक्स में लगातार बढ़ोतरी है, जो अब 109 से ऊपर है।
भारतीय बाजारों को जिन तीन बड़े कारणों ने प्रभावित किया, उनमें एशियाई और अमेरिकी बाजारों में गिरावट, कच्चे तेल की कीमतों में इजाफा और FII द्वारा निवेशकों की भावनाओं को कमजोर करने वाली लगातार बिकवाली शामिल है।