सावन मास में पड़ने वाली कामिका एकादशी का विशेष महत्व है।
हर साल श्रावण मास के कृष्ण पक्ष की एकादशी तिथि को कामिका एकादशी का व्रत रखा जा रहा है।
इस साल कामिका एकादशी पर वृद्धि, सर्वार्थ सिद्धि के साथ अमृत सिद्धि योग का निर्माण हो रहा है।
सावन कृष्ण एकादशी तिथि का आरंभ: 20 जुलाई को दोपहर 12:12 बजे से सावन कृष्ण एकादशी तिथि का समापन: 21 जुलाई को सुबह 9:38 बजे तक
ब्रह्म मुहूर्त: 04:14 ए एम से 04:55 ए एम तक अभिजीत मुहूर्त: 12:00 पी एम से 12:55 पी एम सर्वार्थ सिद्धि योग: पूरे दिन अमृत सिद्धि योग: 09:07 पी एम से 05:37 ए एम, जुलाई 22 वृद्धि योग: 06:39 पी एम तक
22 जुलाई को सुबह 5:37 बजे से सुबह 7:05 बजे तक
ॐ नमो भगवते वासुदेवाय ॐ विष्णवे नम: ॐ हूं विष्णवे नम: ॐ नमो नारायण। श्री मन नारायण नारायण हरि हरि।
श्रीकृष्ण गोविन्द हरे मुरारे। हे नाथ नारायण वासुदेवाय।। ॐ नारायणाय विद्महे। वासुदेवाय धीमहि। तन्नो विष्णु प्रचोदयात्।।