क्रिकेट के भगवान कहे जाने वाले सचिन तेंदुलकर के ट्रेडमार्क सेलिब्रेशन को शायद ही कोई क्रिकेटप्रेमी भूला होगा। सचिन जब भी शतक लगाते थे तो वह बल्ला और हेलमेट समेत दोनों उठाकर आसमान की तरफ देखते थे।
सचिन तेंदुलकर का यह सेलिब्रेशन अपने पिता को समर्पित होता था। सचिन के पिता का निधन 1999 वर्ल्ड कप के दौरान हो गया था। सचिन उस समय विश्व कप खेल रहे थे।
भारतीय ओपनर शिखर धवन को टीम इंडिया का गब्बर कहा जाता है और उनका यह नाम उनके आइकॉनिक सेलिब्रेशन की वजह से पड़ा।
शिखर धवन के सेलिब्रेशन को थाई फाइव भी कहा जाने लगा। धवन कोई कैच या फिर शतक बनाने के बाद अपना दायां हाथ जांघ पर मारकर सेलिब्रेशन करते हैं।
वेस्टइंडीज के गेंदबाज शेल्डन कॉट्रेल का सेलिब्रेशन खूब वायरल हुआ था। 2019 विश्व कप में बेहतरीन गेंदबाजी करने वाले कॉट्रेल विकेट चटकाने के बाद अपने मुल्क की आर्मी को सैल्यूट करते थे।
शेल्डन कॉट्रेल खुद एक कमांडो रहे थे और इसलिए वह जमैका डिफेंस फोर्स को सम्मान देने के लिए यह सेलिब्रेशन करते हैं।
पाकिस्तान के पूर्व कप्तान शाहिद अफरीदी का भी ट्रेडमार्क सेलिब्रेशन खूब चर्चाओं में रहा करता था। अफरीदी विकेट लेने के बाद कुछ इसी अंदाज में सेलिब्रेट करते थे।
रावलपिंडी एक्सप्रेस के नाम से मशहूर हुए शोएब अख्तर का भी विकेट लेने के बाद आइकॉनिक सेलिब्रेशन था। अख्तर दोनों हवा में लहराते हुए दाएं-बाएं भागते थे।
भारतीय ऑलराउंडर रविंद्र जडेजा का भी सेलिब्रेशन आइकॉनिक कैटेगिरी में आता है। जड्डू अक्सर अर्धशतक और शतक बनाने के बाद बल्ले को तलवार के अंदाज में लहराते हैं।
ऑस्ट्रेलिया के सलामी बल्लेबाज डेविड वार्नर का सेलिब्रेशन भी आइकॉनिक है। वार्नर अक्सर शतक के बाद हवा में उछलकर जश्न मनाते हैं।