Makar Sankranti 2024: जानिए कैसे पड़ा मकर संक्रांति का नाम?

पूरे देश में मकर संक्रांति का पर्व हर्षोल्लास के साथ मनाया जाता है। यह त्योहार हिंदू धर्म में विशेष महत्व रखता है।

पौराणिक मान्यताओं के अनुसार, इस पर्व को नए फल और नई ऋतु के आगमन के लिए मनाया जाता है।

कहा जाता है कि इस दिन भगवान सूर्य की पूजा करने से सुख-सौभाग्य की प्राप्ति होती है।

मगर क्या आप जानते हैं कि इस त्योहार का नाम मकर संक्रांति कैस पड़ा?

ऐसी मान्यता है कि इस दिन भगवान सूर्य स्वयं अपने पुत्र शनि से मिलने उनके घर जाते हैं। चूँकि शनिदेव मकर राशि के स्वामी हैं इसलिए इस दिन को मकर संक्रांति के नाम से जाना जाता है।

इसके अलावा यह भी कहा जाता है कि इस दिन सूर्य धनु राशि से मकर राशि में प्रवेश करते हैं। एक राशि को छोड़ के दूसरे में प्रवेश करने की सूर्य की इस क्रिया को संक्रांति कहते हैं।

सूर्य के मकर राशि में प्रवेश करने के चलते इस समय को मकर संक्रांति का नाम दिया गया है। मकर संक्रांति को ही सूर्य देवता दक्षिणायन से उत्तरायण होते हैं।

सूर्य के उत्तरायण होने के साथ ही खरमास के चलते एक महीने से शुभ कार्यों पर लगी रोक भी हट जाती है।