गुजरात में बड़ा विमान हादसा हुआ। एअर इंडिया का विमान 12 जून यानी गुरुवार को अहमदाबाद में टेकऑफ के तुरंत बाद क्रैश हो गया। यह विमान अहमदाबाद से लंदन जा रहा था।
इस विमान में पायलट, को पायलट, क्रू मेंबर्स समेत 242 यात्री सवार थे। इसमें से 241 की मौत हो गई, जबकि एक व्यक्ति जीवित बचा है, जो नीचे कूद गया था।
प्लेन क्रैश होने के बाद सबसे पहले इसका ब्लैक बॉक्स खोजा जाता है। आईए जानते हैं कि ब्लैक बॉक्स में ऐसा क्या होता है, जो इसे तुरंत खोजा जाता है।
हर एक प्लेन में ब्लैक बॉक्स होता है। यह एक ऐसा डिवाइस होता है जो प्लेन में उड़ान से संबंधित सभी जानकारियों की रिकॉर्डिंग रखता है।
जब भी कहीं पर विमान हादसा होता है तो सबसे पहले ब्लैक बॉक्स को ही खोजते हैं। दरअसल इसमें हादसे से पहले की रिकॉर्डिंग होती है, जिससे पता लगाया जा सकता है कि हादसा क्यों हुआ?
ब्लैक बॉक्स दो हिस्सों में बंटा होता है, जिसमें पहला हिस्सा होता है CVR यानी कॉकपिट वॉयस रिकॉर्डर। यह पायलट और को पायलट के बीच की बातचीत, अलार्म और वहां की आवाजें रिकॉर्ड करता है।
ब्लैक बॉक्स का दूसरा हिस्सा फ्लाइट डाटा रिकॉर्डर (FDR) होता है। यह विमान की रफ्तार, दिशा, इंजन की स्थिति, ऊंचाई और दूसरे तकनीकी आंकड़ों को रिकॉर्ड करता है।
ब्लैक बॉक्स को काफी मजबूत बनाया जाता है। यह आग, पानी और ऊंचाई से भी गिरने पर नहीं टूटता है। ब्लैक बॉक्स पानी के अंदर भी 30 दिन तक सुरक्षित रह सकता है और लगातार बीप सिग्नल भेजता है।