वंदे भारत ट्रेन देश की सबसे आधुनिक तकनीक वाली ट्रेन है। केंद्रीय रेलवे मंत्री अश्विनी वैष्णव ने शुक्रवार को बड़ी घोषणा करते हुए कहा कि भारतीय रेलवे अगस्त 2023 तक 75 और वंदे भारत ट्रेन का संचालन करेगा। ये ट्रेनें देश के अलग-अलग क्षेत्रों से कनेक्ट होंगी, जिसका मतलब यह है कि आप देश की हाइटेक तकनीक वाली ट्रेन में सुरक्षित देश के हर क्षेत्र में सफर कर सकेंगे।
उन्होंने आगे कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के कल्पना के अनुसार, भारत के सभी क्षेत्रों को वंदे भारत एक्सप्रेस ट्रेनों के माध्यम से जोड़ा जाएगा। रेलमंत्री ने यह सब बातें आईसीएफ का दौरा करने और चेन्नई में निर्माणाधीन वंदे भारत एक्सप्रेस कोचों का निरीक्षण करने के बाद कही। उन्होंने आगे जानकारी देते हुए बताया कि पहले दो प्रोटोटाइप रेक को इस साल अगस्त तक तैयार करने की योजना है। इसके बाद अगस्त 2023 तक 75 वंदे भारत रेक किया जाएगा।
वंदे भारत में होगी स्वदेशी कवच सुविधा
रेल मंत्री ने भारतीय रेलवे के निजीकरण से भी इंकार किया है। वैष्णव के अनुसार, भारतीय रेलवे की बेहतरी के लिए पूरी तरह से नई तकनीकों के अनुकूलन पर काम कर रही है, जैसे कि कवच विरोधी टक्कर सुरक्षा उपकरण, जो वंदे भारत एक्सप्रेस के डिब्बों में भी लगाए जाएंगे। इससे दो ट्रेने आमने-सामने आने पर टक्कर से पहले ही रुक जाएगी। उन्होंने कहा कि सभी रेलवे स्टेशनों का पुनर्विकास किया जा रहा है।
ये पांच स्टेशन परियोजना के लिए शॉर्टलिस्ट
रेलमंत्री ने कहा कि 50 स्टेशनों पर पहले से काम चल रहा है। तमिलनाडु में, चेन्नई एग्मोर, मदुरै, कन्याकुमारी, रामेश्वरम और काटपाडी सहित पांच स्टेशनों को परियोजना के तहत शॉर्टलिस्ट किया गया है। वैष्णव ने यह भी सिफारिश की कि तमिलनाडु में काम करने वाले रेलवे कर्मचारियों को ट्रेनों के सुचारू और सुरक्षित संचालन के अलावा रेल उपयोगकर्ताओं के साथ बेहतर बातचीत के लिए तमिल सीखनी चाहिए।
वंदे भारत ट्रेन की खासियत
इस ट्रेन की खास बात यह है कि यह देश की सबसे तेज चलने वाली ट्रेन है, जो 160 किलोमीटर प्रति घंटे के रफ्तार चलती है। पहली वंदे भारत ट्रेन 15 फरवरी 2019 में चलाई गई थी, जो वाराणसी से नई दिल्ली के बीच चलाई गई थी। वहीं दूसरी वंदे भारत ट्रेन 3 अक्टूबर को नई दिल्ली से कटरा के बीच में चलाई गई थी। इस ट्रेन में सभी आधुनिक सुविधाएं दी गई हैं।