Vaishakh Purnima 2019: स्नान दान की पूर्णिमा आज, जानिए किन चीजों का दान माना गया है शुभ
मान्यता है कि भगवान कृष्ण ने अपने प्रिय मित्र सुदामा को सत्य विनायक का व्रत रखने को कहा था, जिसे करने के बाद उनकी गरीबी दूर हुई थी।

वैशाख मास की पूर्णिमा स्नान-दान के लिए अत्यंत शुभ माना जाता है। शास्त्रीय मान्यता है कि इस दिन किसी पवित्र नदी या जलाशय में स्नान करना हजारों पुण्य के बराबर फल दिलाने वाला है। इसलिए वौशाख मास की पूर्णिमा को स्नान-दान की पूर्णिमा भी कहा जाता है। इसके अलावा वैशाख मास की पूर्णिमा के दिन भगवान विष्णु की साधना-आराधना बेहद शुभ मानी गई है। इसलिए इस दिन स्नान और दान का महत्व और भी अधिक बढ़ जाता है। आगे जानते हैं कि स्नान-दान की पूर्णिमा पर किन चीजों का दान शुभ है।
धार्मिक मान्यताओं के अनुसार इस पावन तिथि पर पवित्र सरोवर या नदी में स्नान, दान, ध्यान, जप, व्रत और तर्पण आदि करने से मनुष्य को पापों से मुक्ति और मोक्ष प्राप्त होता है। साथ ही इस इस दिन पितरों के निमित्त किए गए कार्यों से उनका आशीर्वाद प्राप्त होता है। वहीं वैशाख पूर्णिमा के दिन गंगा स्नान का अत्यधिक महत्व है। मान्यता है कि इस दिन गंगा में स्नान करने से कई जन्मों के पापों से मुक्ति मिल जाती है। वैशाख पूर्णिमा के दिन प्रात:काल स्नान करके व्रत रखें और रात में फूल, धूप, दीप, अन्न, गुड़ आदि से चंद्रमा की पूजा करें और जल अर्पित करें। पूजन के बाद ब्राह्मण को जल से भरा हुआ घड़ा दान करें। साथ ही साथ घर के बने हुए पकवान भी दान करें।
वैशाख पूर्णिमा के उपाय
- आज के दिन मृत्यु के देवता धर्मराज के नाम से जल से भरे कलश और पकवान आदि दान करने से 100 गायों के दान का पुण्य फल प्राप्त होता है।
- वैशाख पूर्णिमा के दिन पांच या सात ब्राह्मणों को सत्तू, चीनी या गुड़ और तिल के दान करने का विशेष लाभ मिलता है।
- इस दिन किसी विष्णु मंदिर में घी, चीनी और तिलों से भरा पात्र दान करने से जल्द ही मनोकामना पूरी होती है।
- वैशाख की पूर्णिमा के दिन तिल और चीनी से हवन करने से भी शुभ फलों की प्राप्ति होती है।
- वैशाख पूर्णिमा पर सत्य विनायक का व्रत भी रखा जाता है। मान्यता है कि भगवान कृष्ण ने अपने प्रिय मित्र सुदामा को सत्य विनायक का व्रत रखने को कहा था, जिसे करने के बाद उनकी गरीबी दूर हुई थी।