विश्व हिंदू परिषद के वरिष्ठ नेता ने किया दावा, पिछले साल VHP द्वारा 25 हजार मुसलमानों और ईसाई की हुई ‘घर वापसी’
विश्व हिंदू परिषद के वरिष्ठ नेता मिलिंद परांदे ने दावा किया है कि पिछले साल विहिप द्वारा 25 हजार मुसलमानों और ईसाई की 'घर वापसी' हुई है। उन्होंने कई और मामलों में भी बयान दिया है।

विश्व हिंदू परिषद के एक वरिष्ठ नेता ने दावा किया कि दक्षिणपंथी संगठन ने 2018 में 25 हजार मुसलमानों और ईसाइयों को फिर से हिंदू धर्म में धर्मांतरित किया गया है। इस पर बयान देते हुए विहिप के महासचिव मिलिंद परांदे ने कहा कि ‘घर वापसी’ का अभियान देशभर में नियमित रूप से चलाया जाता है। उन्होंने कहा, ‘2018 में 25 हजार मुसलमानों और ईसाइयों का धर्म परिवतर्तन कराया गया।’ परांदे ने यह बयान शनिवार (26 अक्टूबर) को दिया है। उन्होंने कई और मुद्दों पर बात करते हुए विहिप की बातों को सामने रखा है।
धर्म परिवर्तन को बताया एक ‘राष्ट्रीय समस्या’: मामले में विहिप के महासचिव ने कहा कि 2019 के आंकड़ों का अभी संकलन किया जाना बाकी है। नागपुर में एक संवाददाता सम्मेलन को संबोधित करते हुए परांदे ने कहा कि धर्म का परिवर्तन एक ‘राष्ट्रीय समस्या’, ‘देश पर हमला’ और ‘लोगों को बांटने की साजिश’ है। उन्होंने यह भी कहा, ‘विहिप एक विधेयक चाहता है जो दूसरे धर्म के लोगों के धर्म के परिवर्तन को मुश्किल बनाए दें।’ बता दें कि विहिप के नेता इस तरह के बयान हमेशा देते रहते हैं।
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विहिप का मत राम मंदिर परः राम मंदिर मुद्दे के बारे में पूछे जाने पर उन्होंने कहा कि विहिप को सर्वोच्च अदालत से ‘सकारात्मक फैसले’ की उम्मीद है। इस पर उन्होंने यह भी कहा कि सभी ‘पुरातात्विक साक्ष्य’ अयोध्या में राम मंदिर के अस्तित्व का समर्थन करते हैं। इसलिए सर्वोच्च अदालत का जो फैसला होगा माना जाएगा।
विहिप- ‘देश में हिंदुओं की सुरक्षा सुनिश्चित’: इस मौके पर परांदे ने देश में हिंदूओं के बारे में बयान देते हुए कहा कि उनकी सुरक्षा एक चिंता का विषय है। इस पर उन्होंने यह भी कहा कि ‘देश में हिंदुओं की सुरक्षा सुनिश्चित’ करने के लिए नागरिकता विधेयक में संशोधन की जरूरत है।