उत्तराखंड सरकार ने दो दिन के सत्र पर खर्च कर दिए एक करोड़ रुपये, ये रहा ब्योरा
उत्तराखंड की भाजपा सरकार ने पिछले साल दिसंबर में गैरसैंण में विधानसभा के दो दिवसीय सत्र का आयोजन किया था। सूचना का अधिकार कानून के तहत दाखिल अर्जी में इस पर हुए खर्च का खुलासा हुआ है।

उत्तराखंड के गैरसैंण में विधानसभा का दो दिवसीय सत्र का आयोजन किया गया था। दो दिनों में ही राज्य की भाजपा सरकार ने तकरीबन एक करोड़ रुपये खर्च कर दिए। सिर्फ खानपान और पुलिस व्यवस्था पर ही 30 लाख रुपये खर्च हो गए। सबसे ज्यादा खर्च विधायकों के आवास और उसकी साज-सज्जा पर हुआ। सूचना का अधिकार कानून (आरटीआई) के तहत दाखिल अर्जी पर राज्य सरकार ने यह जानकारी दी है। गैरसैंण में पिछले साल 7 से 8 दिसंबर तक विधानसभा सत्र का आयोजन किया गया था। खानपान और आवास के बाद सत्र स्थल और मंत्रियों के लिए अस्थाई कार्यालय के मद में सबसे ज्यादा पैसे खर्च हुए। राज्य सरकार ने बताया कि इसपर कुल 18.10 लाख रुपये का व्यय हुआ था। इसके बाद संचार व्यवस्था (फोन और मोबाइल फोन आदि पर) पर 10 लाख रुपये से ज्यादा का खर्च किया गया था। ट्रांसपोर्टेशन और लोडिंग-अनलोडिंग पर 74 हजार रुपये से ज्यादा का खर्च आया था। विधानसभा सदस्यों को सम्मान स्वरूप प्रतीक चिह्न देने पर 23 हजार का व्यय हुआ था। साथ ही कर्मचारियों पर 15 हजार रुपये से ज्यादा का खर्च आया था। इससे पहले दाखिल आरटीआई अर्जी में त्रिवेंद्र सिंह रावत सरकार द्वारा मेहमानों को चाय-पानी कराने में 68 लाख रुपये से ज्यादा का खर्च करने की बात सामने आई थी। त्रिवेंद्र सिंह ने 18 मार्च, 2017 को उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पद की शपथ ली थी।
#Uttarakhand govt spent about a crore in a two-day state assembly session on Dec 7-8 at #Gairsain, reveals RTI @IndianExpress pic.twitter.com/OqiABK21ZC
— Kavita (@Cavieta) March 7, 2018
सोशल मीडिया पर विधानसभा सत्र में करोड़ रुपये खर्च होने पर लोगों ने तीखी प्रतिक्रिया व्यक्त की है। राजीव ने ट्वीट किया, ‘मुझे लगता है कि पुलिस बंदोबस्त पर ज्यादा खर्च नहीं अया होगा। लेकिन, दो दिनों में भोजन पर तीस लाख रुपये खर्च हो गए। यह पूरी तरह से अनैतिक है। क्या यह माना जा सकता है वे (विधायक) जनता के पैसे पर इस तरह का शाही भोजन करेंगे?’ धीरज राय ने लिखा, ‘औसत खर्च क्या हो सकता है? इसके बाद ही सही-सही पता चल सकेगा।’
12 विधेयक हुए थे पारित: उत्तराखंड सरकार ने विधानसभा के शीतकालीन सत्र के दौरान गैरसैंण में दो दिन का सत्र आयोजित किया था। इस दौरान 12 विधेयक पारित किए गए थे। बता दें कि विधानसभा में विपक्ष के नेता गैरसैंण में शीतकालीन सत्र आयोजित करने पर घोर आपत्ति जताई थी। उन्होंने कहा था कि सरकार की जिद की वजह से लोगों को कड़ाके की ठंड में परेशानियों का सामना करना पड़ा। उन्होंने दो दिन में ही सत्र समाप्त करने पर भी नाराजगी जताई थी। उन्होंने कहा कि सप्ताह भर तक तो सत्र का आयोजन किया जा सकता था।
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