प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की रैली रोकने को तृणमूल का नया दांव, 9 किसानों ने थाने में दर्ज कराई शिकायत
किसानों ने पुलिस में दर्ज करायी गई शिकायत में कहा है कि उन्हें सूचित किए बिना ही उनके खेतों पर जनसभा के लिए मैदान बनाने का काम शुरू कर दिया गया है।

सरोजिनी
2 फरवरी को पश्चिम बंगाल के ठाकुरनगर और दुर्गापुर में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की दो जनसभाएं हुईं। इन्हें लेकर तृणमूल और बीजेपी में खूब खींचतान हुई। अब मोदी की बंगाल में अगली रैली 8 फरवरी को जलपाईगुड़ी जिले के मयनागुड़ी ब्लॉक के चुड़ाभंडार में होने वाली है। इस रैली को रोकने के लिए राजनीतिक दांव-पेच शुरू हो गए हैं। चुड़ाभंडार के कुछ किसानों ने अपने खेतों की फसलों की बर्बादी की आशंका जताते हुए मयनागुड़ी थाने में शिकायत दर्ज कराई है। इन किसानों की अगुवाई तृणमूल कांग्रेस का स्थानीय नेतृत्व कर रहा है। मयनागुड़ी थाने के प्रभारी तमाल दास ने किसानों से शिकायत मिलने की पुष्टि की है। मामले की छानबीन कर 3 फरवरी को रिपोर्ट बड़े अधिकारियों के पास भेजी जाएगी। भाजपा के जिला नेतृत्व ने इसे राज्य में सत्तारूढ़ तृणमूल की साजिश बताया है। उसने आरोप लगाया कि किसानों को मोहरा बनाकर प्रधानमंत्री की जनसभा बाधित करने की कोशिश की जा रही है।
किसानों ने पुलिस में दर्ज कराई गई शिकायत में कहा है कि उन्हें सूचित किए बिना ही उनके खेतों पर जनसभा के लिए मैदान बनाने का काम शुरू कर दिया गया है। शिकायत करनेवाले एक किसान ने कहा है कि उसकी पांच बीघा जमीन में मक्का लगा था। इसके नुकसान के लिए भाजपा के स्थानीय नेता उसके घर में आकर 16 हजार रुपये दे गए। लेकिन अब वह यह रुपये लौटाना चाहता है, क्योंकि उसे एक लाख से भी अधिक का नुकसान हुआ है। इसी तरह से कुल नौ किसानों से शिकायत दर्ज कराई है। किसी ने भाजपा पर सरसों की फसल बर्बाद करने तो किसी ने खेतों को खराब करने का आरोप लगाया है। इस घटना को लेकर सभास्थल के पास किसानों ने एक बैठक भी की। स्थानीय तृणमूल के नेता भी बैठक में पहुंचे।
चुड़ाभंडार इलाके के लगभग 30 किसानों से 80 एकड़ से ज्यादा जमीन प्रधानमंत्री की जनसभा के लिए अस्थायी तौर पर ली गई है। राज्य की तृणमूल सरकार के रुख के चलते भाजपा को जनसभा करने के लिए कहीं सरकारी जमीन नहीं मिल रही, इसलिए उसे खेतों में सभा का इंतजाम करना पड़ रहा है। पुलिस-प्रशासन किसानों की शिकायत पर कोई ‘कड़ा’ कदम न उठा ले, इस डर से भाजपाई रैली स्थल की पहरेदारी भी कर रहे हैं।
भाजपा के मयनागुड़ी विधानसभा क्षेत्र के प्रभारी श्यामल राय ने बताया कि किसानों ने अपनी मर्जी से जमीन प्रधानमंत्री की सभा के लिए दी है। तृणमूल के लोग किसानों को भड़का कर या उन पर दबाव डलवा कर प्रधानमंत्री के सभास्थल को लेकर विवाद खड़ा कर रहे हैं। दूसरी तरफ स्थानीय तृणमूल कांग्रेस नेता मनोज राय ने कहा कि प्रभावित किसानों ने अपने से शिकायत दर्ज कराई है। तृणमूल पार्टी हमेशा किसानों के हित में साथ खड़ी होती है, इसीलिए वह किसानों को लेकर मयनागुड़ी थाने पहुंचे।