जयललिता ने मेत्तूर बांध से पानी छोड़ने का निर्देश दिया
कर्नाटक द्वारा कावेरी नदी से पानी छोड़ने के बाद तमिलनाडु की मुख्यमंत्री जयललिता ने डेल्टा जिलों में सांबा फसलों की सिंचाई के लिए मेत्तूर बांध से पानी छोड़ने के निर्देश दिए।

कर्नाटक द्वारा कावेरी नदी से पानी छोड़ने के बाद तमिलनाडु की मुख्यमंत्री जयललिता ने डेल्टा जिलों में सांबा फसलों की सिंचाई के लिए मेत्तूर बांध से पानी छोड़ने के निर्देश दिए।
जयललिता ने कहा, ‘किसानों को सांबा खेती करने के लिए मैंने 20 सितंबर 2016 से मेत्तूर बांध से पानी छोड़ने का निर्देश दिया है।’ उन्होंने कहा कि बांध का जलस्तर 84.76 फुट (120 फुट की क्षमता) तक पहुंचने, सुप्रीम कोर्ट के आदेश के आलोक में और पानी प्राप्त करने की संभावना, अपने राज्य के लिए पानी की मात्रा पर कावेरी निगरानी समिति के संभावित निर्णय और सामान्य उत्तर-पूर्वी मॉनसून जैसे कारकों को देखते हुए सरकार ने यह निर्णय किया है। जयललिता ने बयान जारी कर कहा कि सुप्रीम कोर्ट के फैसले के बाद तमिलनाडु को 14 सितंबर तक बिलिगुंडुलु में 8.92 टीएमसी फुट पानी प्राप्त हुआ। उन्होंने कहा कि कावेरी विवाद न्यायाधिकरण के 2007 के अंतिम फैसले को सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बाद 2013 में केंद्रीय गजट में प्रकाशित किया गया था। उन्होंने कावेरी प्रबंधन बोर्ड और कावेरी जल नियामक समिति नहीं बनाने के लिए केंद्र को जिम्मेदार ठहराया। जयललिता ने कहा कि चूंकि केंद्र ने इनका गठन नहीं किया है इसलिए ‘हम इस स्थिति में नहीं हैं कि कावेरी से अपने हिस्से का जल प्राप्त करने के लिए सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटाएं।’
इससे पहले राज्य सरकार ने सुप्रीम कोर्ट में याचिका दायर कर कर्नाटक को कावेरी से 50 टीएमसी फुट पानी छोड़ने का निर्देश देने की मांग की थी। सुप्रीम कोर्ट ने पहले कर्नाटक को दस दिन के लिए 15 हजार क्यूसेक पानी छोड़ने का निर्देश दिया था लेकिन बाद में अपने आदेश को संशोधित करते हुए उसे 20 सितंबर तक 12 हजार क्यूसेक पानी छोड़ने को कहा। जयललिता ने कहा कि उनकी सरकार ने पहले कर्नाटक से कहा कि कावेरी से राज्य के हिस्से का जल छोड़ा जाए और फिर केंद्र से हस्तक्षेप करने को कहा लेकिन कोई परिणाम नहीं निकलने के बाद सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटाया गया। मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य को अपने हिस्से का जल नहीं मिलने पर पिछले महीने उन्होंने डेल्टा किसानों की सांबा फसल (एक तरह के धान की फसल) के लिए 64.30 करोड़ रुपए के पैकेज की घोषणा की थी।
जयललिता की तारीफ : इस बीच केंद्रीय सड़क परिवहन और राजमार्ग राज्यमंत्री पी राधाकृष्णन ने शुक्रवार तमिलनाडु की मुख्यमंत्री जयललिता से मुलाकात कर राज्य में सड़क परियोजनाओं पर चर्चा की और कावेरी विवाद को निपटाने में धैर्य दिखाने के लिए मुख्यमंत्री की सराहना की। सचिवालय में जयललिता से मुलाकात के बाद संवाददाताओं से बातचीत में मंत्री ने कहा कि तमिलनाडु में केंद्रीय सड़क परियोजनाओं पर बातचीत हुई। कावेरी मुद्दे पर उन्होंने जयललिता की प्रशंसा की। उन्होंने कहा, ‘तमिलनाडु की मुख्यमंत्री ने कावेरी मुद्दे पर बहुत अच्छा काम किया है। इसे बहुत धैर्य के साथ संभाला है।’ कर्नाटक की हिंसा में भाजपा के शामिल होने के आरोपों को राधाकृष्णन ने बेबुनियाद बताकर खारिज कर दिया। हालांकि उन्होंने कहा कि वह जब प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से मिलेंगे तो हिंसा के मुद्दे पर बात करेंगे।