गुजरात की राजधानी अहमदाबाद में मंगलवार की रात एक निर्माणाधीन पुल का हिस्सा गिर गया। इस मामले पर अब सियासी घमासान भी तेज हो चला है। गुजरात के दलित नेता और निर्दलीय विधायक जिग्नेश मेवानी ने इस घटना के जरिए गुजरात के विकास मॉडल पर निशाना साधा है। उन्होंने अपने ट्विटर अकाउंट पर लिखा कि पहले भारतीय जनता पार्टी का विकास पागल हुआ था अब जानलेवा भी बन चुका है। उन्होंने दावा कि अहमदाबाद में जिस कंपनी का बनाया हुआ पुल लोकार्पण के पहले ही धराशायी हो गया, उसी कंपनी को बुलेट ट्रेन प्रोजेक्ट के 16 पुल और अहमदाबाद मेट्रो फेज-2 का भी ठेका दिया गया है।
पुल का काम दिसंबर के अंत तक पूरा किया जाना था और फरवरी के मध्य तक इसे जनता के इस्तेमाल के लिए खोलने की सोच रहे थे। लेकिन इसमें कुछ और महीनों का समय लगेगा। पुल का जो हिस्सा गिरा है, उसे पिलर्स पर 19 नवंबर को रखा गया था। इसकी मजबूती को परखने के लिए 28 दिनों का टेस्ट चलता है, इस दौरान पोस्ट टेंशन और स्ट्रेचिंग एक्सरसाइज किया जाता है ताकि किसी अनहोनी से बचा जा सके, यह अवधि बुधवार (22 दिसंबर) को रात 10 बजे पूरी होनी थी लेकिन उससे पहले ही यह मंगलवार को गिर गया।
TOI की रिपोर्ट के अनुसार पुल के पास चाय की दुकान लगाने वाले परमार इस घटना के प्रत्यक्षदर्शी बने, उन्होंने बताया कि जब हिस्सा गिरा तो दोनों तरफ इंजीनियर और लेबर मिलकर कुछ काम कर रहे थे। उन्होंने बताया कि रात 10 बजे के आस पास भी ऐसा ही कुछ चल रहा था लेकिन अचानक से पुल का बड़ा हिस्सा गिर गया और धमाका इतनी तेज हुआ कि सभी डर गए।
वहीं AUDA के अधिकारियों का कहना है कि ऐसी घटनाएं दुलर्भ होती हैं और इससे हम सब हैरान हैं, उन्होंने बताया कि यह पुल 853 मीटर लंबा है, उन्होंने कहा कि अब जांच की जा रही है कि यह क्यों गिरा और आरोपियों के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी।