चुनाव आयोग (Election Commission of India) ने घोषणा की है कि त्रिपुरा में 16 फरवरी को मतदान होगा। असम के मुख्यमंत्री हिमंत बिस्वा सरमा (Assam Chief Minister Himanta Biswa Sarma) ने गुरुवार को दिल्ली में त्रिपुरा के शाही वंशज प्रद्योत माणिक्य देबबर्मन (Pradyot Manikya Debbarman) से मुलाकात की, जो टिपरा मोथा पार्टी (TIPRA Motha party) के प्रमुख हैं। यह बैठक ऐसे समय में हुई है जब देबबर्मन, जो राज्य में स्वदेशी समुदायों के एक लोकप्रिय नेता के रूप में उभरे हैं। सत्तारूढ़ भाजपा के साथ-साथ चुनाव के लिए कांग्रेस-सीपीएम गठबंधन द्वारा भी उन्हें ऑफर दिए जा रहे हैं।
मुलाकात को चुनाव से जोड़कर न देखा जाए- हिमंत बिस्वा सरमा
बैठक के बाद हिमंत बिस्वा सरमा ने कहा कि त्रिपुरा भाजपा से संबंधित मामलों को पार्टी की एक अलग टीम द्वारा संभाला जा रहा है। उन्होंने कहा, “हम हमेशा संपर्क में रहते हैं, खासकर उन लोगों के साथ जो दोस्त की तरह हैं। लेकिन त्रिपुरा भाजपा के लिए एक समर्पित टीम है। TIPRA मोथा वैसे भी NEDA का हिस्सा नहीं है।”
हालांकि प्रद्योत माणिक्य देबबर्मन ने कहा कि उन्होंने अपनी स्थिति स्पष्ट कर दी है कि वह अलग राज्य की अपनी मांग से पीछे नहीं हटेंगे। उन्होंने कहा, “जब तक हमें लिखित में नहीं दिया जाता कि हमारी मांग मान ली जाएगी, हम किसी के साथ गठबंधन नहीं करेंगे। हम सिर्फ किसी पद या गठबंधन के लिए अपनी मूल मांग को लेकर किसी तरह की बातचीत नहीं करेंगे। केवल अनुच्छेद 2 और 3 के तहत एक संवैधानिक समाधान का आश्वासन हमें स्वीकार्य है।”
यह पूछे जाने पर कि अगर पार्टी उनकी मांग मान लेती है तो क्या वह भाजपा के साथ गठबंधन करेंगे, उन्होंने कहा, यह भाजपा नहीं बल्कि भारत सरकार है जिसे लिखित में आश्वासन देना होगा। हिमंत बिस्वा सरमा के साथ उनकी बातचीत कैसी रही, इस पर देबबर्मन ने कहा, “बातचीत के बाद मुझे लगा कि मैं अपनी स्थिति को कमजोर नहीं कर रहा हूं और न ही अपने लोगों के साथ विश्वासघात कर रहा हूं।” (यह भी पढ़ें: Tripura Election में इस बार कठिन है बीजेपी की डगर!)
टिपरा मोथा समर्थक की हत्या
यह बैठक उस दिन भी हुई जब राज्य के कमलपुर उपमंडल में टिपरा मोथा समर्थक की हत्या ने उनके समर्थकों और भाजपा के बीच तनाव गहरा दिया। बता दें कि टिपरा समर्थक प्रणजीत नामशूद्र की बुधवार रात कथित तौर पर हत्या कर दी गई थी।
हालांकि हत्या के पीछे कोई राजनीतिक मकसद अभी तक नहीं पता चला है, लेकिन दोनों नेताओं के बीच मुलाकात के समय को काफी चर्चा हुई। गुरुवार की रात हिमंत बिस्वा सरमा से मिलने के कुछ घंटों बाद देबबर्मन ने सोशल मीडिया पर लाइव होकर हिंसा की घटना की निंदा की। उन्होंने कहा, “चुनाव आयोग को जवाब देना होगा। लोगों को डराने के लिए तुम कितनी हत्याएं करोगे? आप सत्ता के नशे में चूर हैं, लेकिन याद रखें कि एक दिन आप इसे खोने जा रहे हैं।”