Chirag Paswan Tejashwi Yadav : बिहार की राजनीति में बढ़ती चहलकदमी सियासी तापमान को बढ़ा रही है। लोजपा नेता चिराग पासवान (Chirag Paswan) बुधवार को पटना में राजद नेता तेजस्वी यादव से मुलाकात करने उनके आवास पर पहुंचे। तेजस्वी से मिलकर चिराग (Chirag Paswan) ने अपने पिता पूर्व केंद्रीय मंत्री रामविलास पासवान की पुण्यतिथि पर आयोजित कार्यक्रम के लिए न्योता दिया। गौर करने वाली बात य़ह है कि दोनों ही नेताओं की मुलाकात ऐसे समय पर हो रही है, जब वह अपने-अपने परिवार के सियासी झगड़ों के कारण परेशान हैं। ऐसे में सियासी हलकों में इस सवाल ने जोर पकड़ लिया है कि क्या खुद को ‘पीएम मोदी का हनुमान’ (Modi Hanuman) बताने वाले चिराग पासवान (Chirag Paswan) लालू खेमे में शामिल होंगे।
आपकी जानकारी के लिए बता दें कि रामविलास पासवान की पुण्यतिथि का कार्यक्रम 12 सितंबर को पटना में आयोजित किया जाएगा। पासवान का निधन आठ अक्टूबर को हुआ था लेकिन पारंपरिक कैलेंडर के हिसाब से यह तिथि 12 सितंबर को पड़ रही है। इस कार्यक्रम में राजनीति के तमाम दिग्गज नेताओं के पहुंचने की उम्मीद जताई जा रही है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से लेकर मोदी कैबिनेट के कई नेताओं को आमंत्रण भेजे जाने की जानकारी मिल रही है।
चिराग ने तेजस्वी को बताया परिवार, नीतीश मिलने के लिए समय नहीं देते हैं: चिराग पासवान ने तेजस्वी से मुलाकात के बाद मीडिया को संबोधित करते हुए कहा पिता की पुण्यतिथि के कार्यक्रम में सभी नेताओं को आमंत्रित किया जा रहा है। तेजस्वी व उनके परिवार के साथ अपने लंबे पारिवारिक रिश्ते रहे हैं। इस मौके पर जब उनसे नीतीश कुमार से संबंधित सवाल पूछे गए तो उन्होंने कहा कि नीतीश कुमार से भी मिलने का समय मांगा है लेकिन अभी मिला नहीं है। उन्होंने कहा कि मेरे मामले में थोड़ी दिक्कत होती है। मिलने का समय नहीं मिल पाता है।
क्या राजनीति में भी तेजस्वी -चिराग आएंगे साथ ? : मीडिया ने जब चिराग और तेजस्वी को साथ देखा तो भविष्य की राजनीति पर सवाल होने लगे। तेजस्वी ने साफ कह दिया कि जब पिता लालू प्रसाद द्वारा चिराग को पार्टी में शामिल होने का ऑफर दिया जा चुका है तो मेरी तरफ से कहने पर कुछ भी नहीं बचता है। वहीं चिराग ने कहा कि यह मीटिंग पारिवारिक थी और इसके राजीतिक मायने न निकाले जाएं। राजनीति पर चर्चा किसी और दिन की जाएगी।
पिछले दिनों चिराग पासवान की पार्टी दो फाड़ हो गई थी। पार्टी का बड़ा धड़ा चिराग (Chirag Paswan) के विपरीत चाचा पशुपति पारस के साथ खड़ा हो गया था। पार्टी टूटने के बाद तेजस्वी ने चिराग को पार्टी में शामिल होने का आमंत्रण भी दिया था। ऐसे में इस बात के कयास लगाए जा रहे हैं कि तेजस्वी यादव और चिराग पासवान के बीच भविष्य की राजनीति को लेकर सियासी मंत्रणा भी जारी है।
चिराग पासवान ने खुद को बताया था पीएम का हनुमान: पिछले साल बिहार में हुए विधानसभा चुनाव के दौरान चिराग पासवान ने खुद को पीएम मोदी का हनुमान बताया था। दरअसल चुनावों के दौरान लोजपा, एनडीए से अलग होकर अकेले लड़ रही थे लेकिन पार्टी के पोस्टरों में लोजपा नेताओं के साथ साथ पीएम मोदी की तस्वीरों का भी इस्तेमाल किया जा रहा था। इस पर जब उनसे मीडिया ने सवाल किया था तो उन्होंने कहा था कि वह पीएम नरेंद्र मोदी के हनुमान हैं, उनके दिल में पीएम मोदी की तस्वीर बसती है और वो मौका मिलने पर छाती चीर के भी दिखा सकते हैं।
तेजस्वी ने दिया था चिराग पासवान को ऑफर: RJD नेता तेजस्वी यादव ने लोजपा टूट प्रकरण के दौरान चिराग (Chirag Paswan) को अपनी पार्टी में शामिल होने का न्योता दिया था। तेजस्वी ने अपने ऑफर के साथ चिराग को 2010 की याद दिलाई थी। जब लालू प्रसाद यादव ने चिराग के पिता रामविलास पासवान की मदद करके उन्हें राज्यसभा भेजा था।