Banke Bihari Corridor: उत्तर प्रदेश में मथुरा जिले के वृंदावन (Vrindavan) के प्रसिद्ध बांके बिहार मंदिर (Banke Bihari Temple) के चारों ओर कॉरिडोर बनाने के योगी आदित्यनाथ सरकार (Yogi Adityanath Government) के प्रस्ताव का कड़ा विरोध हो रहा है। स्थानीय लोग यहां सड़कों पर बैठकर प्रदर्शन कर रहे हैं। उनका कहना है कि कॉरोडिर बनने से उन लोगों को विस्थापित कर दिया जाएगा और उनका दैनिक जीवन इससे अस्त-व्यस्त होगा। योगी सरकार ने काशी विश्वनाथ मंदिर कॉरिडोर परियोजना की तर्ज पर यहां मंदिर के चारों ओर गलियारा बनाने का प्रस्ताव दिया था।
लोगों ने खून से CM Yogi Adityanath को लिखा खत, लगाई गुहार
पुजारी और दुकानदार अपने खून से मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को पत्र लिख रहे हैं और परियोजना को बंद करने का अनुरोध कर रहे हैं। इलाके के बाजार दो दिनों से बंद हैं और मंदिर के पुजारी भी स्थानीय निवासियों के समर्थन में उतर आए हैं। वहीं, यह मामला अब इलाहाबाद हाईकोर्ट में पहुंच गया है। सुप्रीम कोर्ट भी इस महीने के अंत में इस पर सुनवाई करेगा।
कॉरिडोर बनाने के लिए 500 एकड़ जमीन का अधिग्रहण करेगी सरकार
कॉरिडोर बनाने के लिए राज्य सरकार प्रतिष्ठित मंदिर के आसपास 5 एकड़ भूमि का अधिग्रहण करेगी, जिसमें लगभग 300 मंदिर और आवासीय भवन हैं। यहां पर लोग सैकड़ों वर्षों से रह रहे हैं। कॉरिडोर बनने पर इन 300 इमारतों को गिराए जाने की खबर है।
प्रशासन ने 200 से अधिक इमारतों का किया सर्वे
विरोध कर रहे निवासियों का कहना है कि वे सैकड़ों सालों से अपने घरों में मंदिर बनाकर भगवान की पूजा करते आ रहे हैं और अगर उन्हें तोड़ा गया तो उनकी आस्था को ठेस पहुंचेगी। कॉरिडोर पर हाई कोर्ट के आदेश के बाद मथुरा के जिलाधिकारी ने आठ सदस्यीय कमेटी का गठन कर मंदिर के आसपास की 200 से अधिक इमारतों का सर्वे किया और उन्हें चिन्हित किया।
इससे पहले, पिछले साल इलाहाबाद हाईकोर्ट ने कॉरिडोर के लिए सर्वे का आदेश दिया था। उत्तर प्रदेश सरकार आज हाईकोर्ट के समक्ष अपनी सर्वे रिपोर्ट पेश करेगी। बांके बिहारी मंदिर वृंदावन में सबसे प्रसिद्ध मंदिर है, जो मथुरा से 20 किमी दूर है। इसे लोग भगवान श्रीकृष्ण की जन्मभूमि मानते हैं।
बीजेपी सांसद हेमा मालिनी बोलीं- कॉरिडोर से खुलेंगे अंतरराष्ट्रीय पर्यटन के द्वार
वहीं, सरकार का कहना है कि गलियारा जरूरी है ताकि अधिक लोगों को मंदिर में समायोजित किया जा सके और वास्तव में भक्तों के लिए वहां तक पहुंचना आसान हो जाएगा। 2022 में यूपी सरकार द्वारा कॉरिडोर और आसपास के क्षेत्र के पुनर्विकास के प्रस्ताव पर चर्चा की गई थी और उन घरों और प्रतिष्ठानों की पहचान करने के लिए एक सर्वेक्षण किया गया था, जिन्हें तोड़ा जा सकता है। इसके अलावा, मथुरा की लोकसभा सांसद हेमा मालिनी ने रविवार को कहा था कि यह कॉरिडोर अंतरराष्ट्रीय पर्यटन के द्वार खोलेगा। इससे तीर्थयात्रियों को बिना किसी परेशानी के भगवान के दर्शन करने में सुविधा होगी। उन्होंने व्यापारियों, पुजारियों और स्थानीय लोगों की चिंताओं को स्वीकार करते हुए यह भी आश्वासन दिया था कि सभी का ख्याल रखा जाएगा।