Bangladeshis’ in Assam: अवैध बांग्लादेशियों की वजह से असम की जनसंख्या में परिवर्तन वहां के स्थानीय लोगों के लिए एक बड़ा मुद्दा है। इस बीच राज्य के गोलपारा में बनाए गए ‘डिटेंशन सेंटर’ में 68 ‘विदेशियों’ को शिफ्ट किया गया है। गुवाहाटी से 150 किलोमीटर दूर स्थित ट्रांजिट कैंप के जरिए ‘विदेशियों’ को फेज वाइज ट्रांसफर किया जाएगा।
गोलपारा (Goalpara Assam) में बनाया गया यह सेंटर असम राज्य का पहला ऐसा कैंप है जिस पूरी तरह से अवैध रूप से रह रहे विदेशी नागरिकों के लिए बनाया गया है। यह केंद्र सरकार की गाइडलाइंस के अनुसार बनाया गया है। इससे पहले अभी तक ऐसे लोगों के लिए पूरे असम में छह “डिटेंशन सेंटर” बनाए गए थे। ये सभी जेलों के अंदर हैं।
इंडियन एक्सप्रेस की रिपोर्ट के अनुसार, सरकार से जुड़े सूत्रों का कहना है कि गोलपारा ट्रांजिट कैंप में जिन लोगों को ट्रांसफर किया गया है, उनमें असम में विदेशी ट्रिब्यूनल (Foreigner Tribunals in Assam) द्वारा “विदेशी” घोषित किए गए लोगों के साथ-साथ वीजा प्रावधानों का उल्लंघन करने के लिए अदालतों द्वारा दोषी ठहराए गए लोग भी शामिल हैं।
असम की IGP बरनाली शर्मा ( Barnali Sharma, Inspector General of Prisons, Assam) ने बताया कि जिन 68 लोगों को ट्रांजिट कैंप में शिफ्ट किया गया है उनमें से 45 पुरुष, 21 महिलाएं और 2 बच्चे हैं। इनकी पहचान विदेशियों के तौर पर हुई है।
कहां-कहां हैं ‘डिटेंशन सेंटर्स’
असम की कोकराझार जिला जेल, गोलपारा जिला जेल के अलावा तेजपुर सेंट्रल जेल, सिलचर सेंट्रल जेल, डिब्रूगढ़ सेंट्रल जेल और जोरहाट सेंट्रल जेल में पहले से ही ‘डिटेंशन सेंटर्स’ हैं। सरकारी आंकड़ों के अनुसार, सितंबर 2022 तक इन सभी में कुल 195 लोग थे।