80% लोग नहीं पहन रहे मास्क, बाकी के जबड़ों पर लटक रहे फेस कवर- कोरोना संकट के बीच लापरवाही पर SC नाराज
कोर्ट ने कहा, "कार्यक्रम/जलसे हो रहे हैं। 80 फीसदी लोग मास्क नहीं पहन रहे। बाकी के मास्क जबड़ों पर लटक रहे हैं। ढेर सारी SOP और गाइडलाइंस हैं, पर इच्छा शक्ति नहीं नजर आ रही है।"

सुप्रीम कोर्ट ने कोरोना वायरस को लेकर बरती जा रही लापरवाही के ताजा हालात को लेकर नाराजगी जाहिर की है। शुक्रवार को कहा कि 80 फीसदी लोग मास्क नहीं पहन रहे हैं, जबकि शेष लोगों की जबड़े/ठुड्डी पर फेस कवर लटकता मिलता है। सुप्रीम कोर्ट की यह टिप्पणी राजकोट में कोविड-19 अस्पताल में बृहस्पतिवार को लगी आग की घटना पर संज्ञान लेने के दौरान आई। हादसे में पांच मरीजों की मौत हो गई थी।
कोर्ट ने कहा, “कार्यक्रम/जलसे हो रहे हैं। 80 फीसदी लोग मास्क नहीं पहन रहे। बाकी के मास्क जबड़ों पर लटक रहे हैं। ढेर सारी SOP और गाइडलाइंस बना दी गई हैं, पर इच्छा शक्ति नहीं नजर आ रही है।”
हालांकि, केंद्र ने कोर्ट से कहा कि केन्द्रीय गृह सचिव बैठक आयोजित करेंगे और देश भर के सरकारी अस्पतालों के लिए अग्नि सुरक्षा निर्देश जारी करेंगे। कोर्ट ने आगे कहा कि अब वक्त आ गया है जब भारत में कोरोना वायरस संक्रमण के बढ़ते मामलों को रोकने के लिए नीतियां, दिशा निर्देश और मानक संचालन प्रक्रियाओं को लागू करने के लिए कड़े कदम उठाए जाएं।
दरअसल, राजकोट में बृहस्पतिवार देर रात निर्दिष्ट कोविड-19 अस्पताल के आईसीयू में आग लगने से पांच मरीजों की मौत हो गई। दमकल विभाग के एक अधिकारी ने समाचार एजेंसी पीटीआई-भाषा को बताया कि अस्पताल में कोरोना वायरस से पीड़ित जिन 28 अन्य मरीजों का इलाज चल रहा था, उन्हें सुरक्षित बचा लिया गया है।
दमकल विभाग के अधिकारी जे. बी. थेवा ने बताया कि मावडी इलाके के उदय शिवानंद अस्पताल के आईसीयू में बृहस्पतिवार देर रात करीब एक बजे आग लगी। यहां कुल 33 मरीज भर्ती थे, जिनमें से सात उस समय आईसीयू में भर्ती थे। उन्होंने कहा, ‘‘ हम आग लगने की जानकारी मिलते ही तुंरत मौके पर पहुंचे और 30 मरीजों को सुरक्षित वहां से निकाला। आईसीयू में भर्ती तीन मरीजों की वहीं मौत हो गई और अन्य दो ने थोड़ी देर बाद दम तोड़ दिया।’’

उन्होंने बताया कि आग पर काबू पा लिया गया है। आग लगने के कारण का अभी पता नहीं चल पाया है। अधिकारी ने बताया कि वहां से बचाए गए मरीजों को कोविड-19 के अन्य अस्पतालों में भर्ती कराया गया है। बता दें कि अगस्त में अहमदाबाद के एक चार मंजिला निजी अस्पताल की सबसे ऊपर की मंजिल पर आग लगने से कोविड-19 से पीड़ित आठ मरीजों की मौत हो गई थी।
आग लगने से हुई लोगों की मौत से बेहद दुखी हूं- PM: प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने शुक्रवार को राजकोट के एक अस्पताल में आग लगने से हुई जनहानि पर गहरा दुख व्यक्त किया और कहा कि प्रशासन प्रभावितों की हरसंभव सहायता करेगा। PMO ने प्रधानमंत्री के हवाले से ट्वीट किया, “राजकोट में अस्पताल में आग लगने से हुई जनहानि से बेहद दुखी हूं। मेरी संवेदनाएं इस त्रासदी में अपने प्रियजनों को खोने वालों के साथ हैं। घायलों के जल्द स्वस्थ होने की प्रार्थना करता हूं। प्रशासन प्रभावित लोगों को हरसंभव सहायता सुनिश्चित कर रहा है।”
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